राजस्थान क्रिकेट संघ का चुनाव बेहद रोचक दौर में पहुंच गया है. क्रिकेट संघ का चुनाव न होकर ये कांग्रेस और बीजेपी के लिए राजनीतिक अखाड़ा बन गया है. पहले ललित मोदी गुट की तरफ से उनके बेटे रुचिर मोदी ने आरसीए अध्यक्ष पद के लिए नामांकन भरा तो जवाब में मोदी के विपक्षी गुट ने कांग्रेस महासचिव सीपी जोशी को आरसीए अध्यक्ष पद के लिए मैदान में उतार दिया.
सीपी जोशी के मैदान में उतरते ही बीजेपी भी राजस्थान क्रिकेट की राजनीति में कूद गई है. डूंगरपुर के पूर्व राज परिवार के सदस्य और पार्टी के राज्यसभा सांसद हर्षवर्धन सिंह का भी नामांकन प्रेसिडेंट पोस्ट के लिए किया गया है.
राजस्थान क्रिकेट संघ का चुनाव 29 मई को होना है. इससे पहले जब 26 मार्च को आरसीए का चुनाव होना था तो रुचिर मोदी के खिलाफ अचानक से सीपी जोशी का नाम आ गया और साथ में जिलों का बहुमत भी सीपी जोशी के साथ खड़ा हो गया. इसे देखते हुए अचानक से आरसीए ने ये कहकर चुनाव रद्द कर दिया कि लोढ़ा कमेटी की सिफारिशों को लागू किए बिना चुनाव नही कराया जा सकता है.29 मई को होगा चुनाव
लेकिन ललित मोदी गुट के विपक्षी कोर्ट में चले गए जहां कोर्ट ने इन्हें राजस्थान क्रिकेट संघ के चुनाव कराने के निर्देश दिए. इसके बाद हीं आरसीए को 29 मई को
आरसीए चुनाव कराने की घोषणा करनी पड़ी है. इससे पहले आरसीए के अध्यक्ष पर ललित मोदी चुने गए थे, मगर बीसीसीआई के विरोध के चलते आरसीए को
बीसीसीआई ने कभी मान्यता नही दी थी.
उसके बाद ललित मोदी ने लोढ़ा कमेटी की सिफारिशों का हवाला देते हुए आरसीए प्रेसिडेंट पद से त्यागपत्र दे दिया. लेकिन इसके साथ ही चुपके से अपने बेटे रुचिर मोदी को अलवर क्रिकेट जिला संघ का अध्यक्ष बनाकर राजस्थान क्रिकेट में इंट्री करवा दी. ललित मोदी पर बेटे के जरिए रिमोट कंट्रोल से आरसीए को चलाने की चाल चलने का आरोप लग रहा है.
मगर जिस तरह से बीजीपी सांसद हर्षवर्धन सिंह ने रुचिर मोदी गुट की तरफ से रुचिर मोदी के अलावा दूसरा नामांकन अध्यक्ष पद के लिए भरा है, उससे एक बात तो साफ हो गई है कि ललित मोदी गुट को राजस्थान सरकार का समर्थन प्राप्त है. उधर कांग्रेस में आधा दर्जन राज्यों के प्रभारी महासचिव सीपी जोशी लंबे समय से राजस्थान की राजनीति से दूर रहने के बाद अब राजस्थान क्रिकेट के जरिए राजस्थान की राजनीति में एकबार फिर से सक्रिय होना चाहते हैं.
गौरतलब है कि राजस्थान में कांग्रेस की सरकार बनते ही सीपी जोशी ने ललित मोदी को हराकर आरसीए अध्यक्ष पद पर कब्जा किया था.