scorecardresearch
 

राजस्थान: गहलोत के 'संकटमोचक' पायलट के साथ, इस मुलाकात से राजस्थान में चर्चा गर्म

पूर्व उप-मुख्यमंत्री सचिन पायलट और राजस्थान के स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा आज एक ही गाड़ी से अजमेर गए और वापस भी एक साथ ही आए. ग़ौरतलब है कि राजस्थान में सियासी संकट के दौरान पायलट और रघु शर्मा के रिश्ते काफ़ी अच्छे नहीं रहे थे.

Advertisement
X
अशोक गहलोत और सचिन पायलट (फ़ोटो- पीटीआई)
अशोक गहलोत और सचिन पायलट (फ़ोटो- पीटीआई)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • सीएम गहलोत के 'करीबी' सचिन पायलट के साथ
  • सचिन पायलट से मिले गहलोत के खास रघु शर्मा
  • सियासी संकट के दौरान दोनों के रिश्ते काफ़ी अच्छे नहीं थे

राजस्थान में कांग्रेस की सियासत में आज दो पुराने दोस्तों के साथ मिलने की चर्चा हरतरफ़ रही है. पूर्व उप-मुख्यमंत्री सचिन पायलट और राजस्थान के स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा आज एक ही गाड़ी से अजमेर गए और वापस भी एक साथ ही आए. ग़ौरतलब है कि राजस्थान में सियासी संकट के दौरान पायलट और रघु शर्मा के रिश्ते काफ़ी अच्छे नहीं रहे थे. 

Advertisement

हालांकि, ये दोनों पुराने साथी थे. मगर सियासी संकट के दौरान रघु शर्मा पर्दे के पीछे मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के लिए संकटमोचक की भूमिका में नज़र आए थे. उसके बाद कांग्रेस के नए प्रभारी अजय माकन के अजमेर दौरे के दौरान पायलट समर्थकों ने शर्मा के ख़िलाफ़ नारेबाज़ी भी की थी.

मगर आज जब लोगों को सूचना मिली कि पूर्व उप-मुख्यमंत्री सचिन पायलट और रघु शर्मा जयपुर से अजमेर के बीच 7 घंटे तक एक ही साथ रहे, तब हर तरफ़ कांग्रेस में सियासत के नए गठजोड़ की चर्चा चल पड़ी. दोनों की तस्वीरें भी हाथ में तलवार लिए जारी हुईं हैं, जिसे लेकर भी चर्चा हो रही है. 

दरअसल, सेवादल के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष राकेश पारीक के यहां एक बैठक में हिस्सा के लिए शर्मा और पायलट एक साथ अजमेर गए थे. मंत्री रघु शर्मा पहले सचिन पायलट के आवास पर पहुंचे और फिर वहां से एक ही गाड़ी में साथ गए. यही नहीं वापसी में भी शर्मा, पायलट के आवास पर उतरे और वहां से अपने घर आए. गौरतलब है कि इससे पहले शर्मा मुख्यमंत्री गहलोत के साथ नज़र आया करते थे. 

Advertisement

देखें: आजतक LIVE TV 

मालूम हो कि कुछ महीने पहले ही पायलट अपने समर्थक विधायकों के साथ राजस्थान से बाहर चले गए थे, जिससे राज्य में सियासी संकट खड़ा हो गया था. कई दिनों तक चले सियासी ड्रामे के बाद आखिरकार सचिन पायलट आलाकमान के समझाने के बाद मान गए और गहलोत सरकार संकट से बाहर आई. ऐसे में इस ताजा घटनाक्रम को लेकर सियासी चर्चा तेज हो गई है. 

ये भी पढ़ें

Advertisement
Advertisement