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Rajasthan: बाड़मेर में नसबंदी कराने के बाद महिला की हुई मौत, शव गृह के बाहर धरने पर बैठे लोग

नसबंदी कराने के तुरंत बाद महिला की मौत होने पर बाड़मेर अस्पताल पहुंची पुलिस ने विवाहिता के शव को अस्पताल के शव गृह में रखवा दिया. इसपर मृतक महिला के परिजन के परिजनों ने चिकित्सकों पर नसबंदी ऑपरेशन में लापरवाही बरतने का आरोप लगाया और शव लेने से इनकार कर दिया.

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नसबंदी के बाद महिला की हुई मौत
नसबंदी के बाद महिला की हुई मौत
स्टोरी हाइलाइट्स
  • बाड़मेर में नसबंदी के बाद महिला की मौत
  • परिजनों ने काटा बवाल, शव गृह के बाहर धरने पर बैठे

राजस्थान के बाड़मेर में नसबंदी शिविर में नसबंदी के लिए गई 24 साल की महिला की मौत हो गई. इसके बाद मृतक महिला के परिजनों और अन्य लोग शव गृह में ही धरने पर बैठ गए और मुआवजे की मांग करने लगे.

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दरअसल बाड़मेर जिले के चौहटन कस्बे के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में परिवार नियोजन कार्यक्रम के तहत चलाए जा रहे नसबंदी शिविर में ऑपरेशन करवाने गई विवाहिता की मौत हो गई.  

24 साल की मृतक महिला गीता देवी राणासर की रहने वाली थी और कुछ दिन पहले ही अपने मायके आई थी.

महिला के 3 बेटे है जिसमें सबसे बड़ा बेटा रोहित ढाई साल, उससे छोटा कैलाश 1 साल का और सबसे छोटे कार्तिक की उम्र महज 2 माह है. विवाहिता अपने मायके से मां और एएनएम तारा कश्यप के साथ चौहटन अस्पताल में नसबंदी के लिए गई थी. 

अस्पताल में नसबंदी के ऑपरेशन के बाद अचानक उसकी तबीयत बिगड़ गई. आनन-फानन में चिकित्सकों ने विवाहिता को जिला अस्पताल रेफर कर दिया, जहां चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया.

शनिवार शाम से मृतका के परिजन और समाज के लोग शव स्थल पर धरने पर बैठे हैं और मृतक के आश्रितों को 10 लाख का मुआवजा और लापरवाह चिकित्सकीय टीम के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे हैं.

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