scorecardresearch
 

हरियाणा से 10 साल पहले लापता बेटा राजस्थान में मिला, देखते ही रो पड़ी मां

हरियाणा के कैथल में एक मां को अपना 10 साल पहले बिछड़ा बेटा मिल गया है. बेटे को पाकर मां की खुशी का ठिकाना नहीं है. उन्होंने बताया कि उनका बेटा ऑस्ट्रेलिया में पढ़ता था. जब वह पढ़ाई करके वापस आया तो वह मानसिक रूप से विकलांग हो चुका था. फिर एक दिन वह अचानक घर से चला गया और वापस नहीं आया.

Advertisement
X
सांकेतिक तस्वीर (Getty Images)
सांकेतिक तस्वीर (Getty Images)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • 10 साल पहले बिछड़ गया था मानसिक रूप से विकलांग बेटा
  • राजस्थान के 'अपना आश्रम' में रह रहा था कैथल का सनी
  • 10 साल बाद अपने बेटे को वापस पाकर खुश हो गई मां

हरियाणा के कैथल से एक ऐसा मामला सामने आया है, जहां एक मां अपने 10 साल पहले बिछड़ चुके बेटे से मिली. दरअसल, कैथल की कमल कॉलोनी का रहने वाला सनी 15 साल पहले पढ़ाई के लिए ऑस्ट्रेलिया गया था. लेकिन जब वह घर वापस आया तो वह मानसिक रूप से विकलांग हो चुका था. इसी के चलते एक दिन वह घर से निकला और वापस नहीं आया.

Advertisement

उसके माता-पिता ने उसे ढूंढने की काफी कोशिश की. लेकिन उनके बेटे सनी का कुछ पता नहीं लग पाया. बेटे के इंतजार में सनी के पिता की भी मौत हो गई. अब जब सनी 10 साल बाद अपनी मां से मिला तो उसकी मां के आंसू रोके नहीं रुक रहे थे. वह अपने बेटे को पाकर बहुत खुश हैं.

जानकारी के अनुसार, सनी जब घर छोड़कर चला गया था तो वह राजस्थान पहुंच गया. मानसिक रूप से विकलांग सनी जब भरतपुर में स्थित 'अपना घर' आश्रम वालों को मिला, तो वे लोग उसे अपने साथ आश्रम ले आए. यहां वे लोग रहते हैं जो असहाय होते हैं. सनी यहां पूरे 10 साल तक रहा. जब उसकी मानसिक हालत में सुधार होने लगा तो उसने आश्रम वालों को बताया कि वह कैथल का रहने वाला है.

Advertisement

आश्रम वालों ने भी सनी की मदद की और पुलिस की मदद से उसके घर में संपर्क किया. जैसे ही सनी की मां रविंद्र कौर को पता लगा कि उनका बेटा 'अपना घर' आश्रम में है. वह फौरन वहां पहुंची और बेटे सनी को अपने साथ घर ले आई.

सनी की मां रविंद्र कौर ने बताया कि उनका बेटा पढ़ने में बहुत होशियार था. इसलिए पढ़ाई के लिए उसे ऑस्ट्रेलिया भेजा था. लेकिन जब वह घर आया तो उसकी मानसिक हालत ठीक नहीं थी. वह अचानक से घर से चला गया और वापस ही नहीं आया. उन्होंने कहा, 'हमने सनी को ढूंढने के लिए हर मंदिर और गुरुद्वारों में जाकर भी तलाश की. लेकिन उसका कुछ पता नहीं लग पाया. सनी के पिता भी देहांत से पहले इसी उम्मीद में थे कि उनका बेटा  शायद वापस आ जाए.'

रविंद्र कौर ने बताया, 'इस बीच सनी की बहन की भी शादी हो गई. अब जब मेरा बेटा मुझे मिल गया है तो मैं अपनी खुशी व्यक्त नहीं कर पा रही हूं.' वहीं, सनी भी अपनी मां से मिलकर बहुत खुश हुआ. एक दूसरे को देखकर मां और बेटे दोनों की आंखों से आंसू छलक पड़े.

Advertisement
Advertisement