मध्य प्रदेश में पुलिस का प्रभाव किस तरह कम हो रहा है, इसका उदाहरण है राजधानी भोपाल में पुलिस पर 13 माह में हुए 25 हमले. इन हमलों में पुलिस अधीक्षक, जिलाधिकारी से लेकर जवानों तक को निशाना बनाया गया है. हमले के आरोपियों में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सुरेश पचौरी भी शामिल हैं.
विधानसभा में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक विश्वास सारंग द्वारा पूछे गए प्रश्न के उत्तर में गृहमंत्री उमा शंकर गुप्ता ने बताया कि एक जनवरी 2011 से 10 फरवरी 2012 के बीच राजधानी में पुलिस दल पर कुल 25 बार हमले हुए. इसमें तीन दिसम्बर को गैस पीड़ितों एवं पुलिस के बीच हुई झड़प भी शामिल है.
गृहमंत्री ने बताया कि इन हमलों में भोपाल के जिलाधिकारी निकुंज श्रीवास्तव, एसएसपी योगेश चौधरी, पुलिस अधीक्षक अभय सिंह, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राजेश चंदेल, कई नगर पुलिस अधीक्षक व उपनिरीक्षकों व जवान सहित कुल 67 लोग घायल हुए.
पुलिस पर हुए हमलों में जिन लोगों को आरोपी बनाया गया है, उनमें कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पचौरी के अलावा विधानसभा में उप नेता विपक्ष राकेश चौधरी सहित गैस पीड़ितों की लड़ाई लड़ने वाले बालकिशन नामदेव भी शामिल हैं. गृहमंत्री के आंकड़ों के अनुसार भोपाल में हर माह लगभग दो बार पुलिस पर हमले हुए हैं.