लोकसभा चुनाव से पहले माओवादियों ने हालात अस्थिर करने की कोशिशें शुरू कर दी हैं. बिहार के
औरंगाबाद जिले के ढिबरा थाना स्थित बरंडा मोड़ के पास माओवादी की बिछाई बारूदी सुरंग
में धमाका हो गया, जिसमें सीआरपीएफ के तीन जवान शहीद हो गए और 8 घायल हो
गए. जवान बम को डिफ्यूज करने की कोशिश कर रहे थे.
शर्मनाक बात यह रही कि डिप्टी कंमाडेंट इंद्रजीत सिंह ने रांची अस्पताल में सही इलाज के अभाव में दम तोड़ा. मौत से पहले वह दो घंटे तक मदद की गुहार लगाते रहे. वह डायरेक्टर जनरल, गृहमंत्री और प्रधानमंत्री से खुद को बचाने की अपील करते रहे लेकिन मदद साढ़े तीन घंटे की देरी से उन तक पहुंची. तब तक उनके शरीर से सारा खून बह चुका था.
माओवादियों ने सड़क पर आईईडी लगाया था. लेकिन जवानों को इसका समय रहते पता चल गया था. वे दूसरों की जान बचाने के लिए बम को डिफ्यूज कर रहे थे लेकिन अचानक धमाका हो गया. विस्फोट इतना शक्तिशाली था कि तीन किलोमीटर दूर तक का इलाका हिल गया. बताया जाता है कि घटनास्थल ढिबरा थाना से 500 मीटर की दूरी पर है.
ढिबरा थाना प्रभारी भी ब्लास्ट में घायल हो गए हैं. चार जवानों को रांची रिम्स में और चार को मगध मेडिकल कॉलेज में दाखिल कराया गया है. गौरतलब है कि माओवादियों ने लोकसभा चुनाव का बहिष्कार करने की चेतावनी दी थी और उसी के चलते बम लगाया गया था.