भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी ने विदेशी बैंकों में जमा देश के ‘काले धन’ को वापस लाने में सफल नहीं होने के लिए संप्रग सरकार की आलोचना की है और पूछा है कि क्या सरकार में शामिल ‘कुछ लोगों’ के इसमें संलिप्त होने के कारण ऐसा है.
भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक के अंतिम दिन यहां आयोजित रैली में उन्होंने पूछा, ‘इस धन को क्यों नहीं वापस लाया जा रहा है? क्या ऐसा इसलिए है उन्हें मालूम है कि कि सरकार के कुछ लोग और उनके दोस्त विदेशी बैंकों में धन जमा करने में संलिप्त हैं?’
आडवाणी ने कहा, ‘स्वतंत्रता से लेकर अब तक विदेशी बैंकों में 300 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा धन जमा किया गया है. मैंने और भाजपा के अन्य वरिष्ठ नेताओं ने प्रधानमंत्री को एक हस्ताक्षरित पत्र भेजा है जिसमें उनसे इस धन को वापस लाने और राष्ट्र के विकास में इसका उपयोग करने का आग्रह किया है.’ उन्होंने कहा कि चूंकि सरकार के पास बिजली, स्वच्छ पेयजल, अस्पताल, स्कूल और गांवों में कालेज उपलब्ध कराने के लिए पर्याप्त धन नहीं है इसलिए विदेशों में जमा धन को वापस लाया जाना चाहिए और इसका उपयोग करना चाहिए.
उन्होंने दावा किया कि भाजपा शासित राज्यों ने दिखा दिया है कि अगर ईमानदारी हो तो सीमित संसाधनों के बावजूद लोगों को मूलभूत सुविधाएं मुहैया कराई जा सकती हैं.
भाजपा नेता ने कांग्रेस की उसकी कथित गलत नीतियों एवं भ्रष्टाचार के लिए भी आलोचना की जिस कारण आवश्यक वस्तुओं के मूल्यों में लगातार बढ़ोतरी हो रही है.