दिल्ली हाई कोर्ट के बाहर हुए हाई इंटेंसिटी ब्लास्ट की निंदा करते हुए बीजेपी और लेफ्ट पार्टी ने कहा है कि सरकार को लोगों को यह बताना चाहिए कि क्या खुफिया तंत्र की नाकामी की वजह से यह घटना हुई है.
बीजेपी प्रवक्ता रविशंकर प्रसाद ने इस घटना को बहुत दुखद बताते हुए संवाददाताओं से कहा, ‘हम इसकी निंदा करते हैं. सरकार कोई कार्रवाई क्यों नहीं कर रही है? यह घटना राजधानी के बीचो बीच हुई है, जो इंडिया गेट इलाके से लगा हुआ है तथा यह स्थान दिल्ली उच्च न्यायालय के बाहर स्थित है. कोई सुरक्षा नहीं थी और न ही इस बारे में कोई खुफिया जानकारी थी.’
प्रसाद ने विस्फोट को बहुत ‘अफसोसजनक’ बताते हुए कहा कि सरकार को इस सवाल का जवाब देना चाहिए कि आतंकवादी हमलों से कितने बेकसूर लोगों को अपनी जान गंवानी होगी.
उन्होंने कहा कि आतंकवादी सुरक्षित रूप से आते हैं और अंजाम की परवाह किए बगैर लोगों की हत्या करते हैं.
भाकपा के राष्ट्रीय सचिव डी राजा ने कहा कि पार्टी ने विस्फोट की ‘सख्त निंदा’ की है. उन्होंने कहा कि सरकार यह स्पष्ट करे कि इस तरह के हमले देश में क्यों हो रहे हैं.
भाकपा राष्ट्रीय सचिव ने कहा, ‘सरकार को इस घटना की एक गहन जांच करानी चाहिए और उन्हें यह बताना चाहिए कि क्या यह खुफिया एजेंसियों की नाकामी थी या आतंकवाद के खिलाफ अपनाई गई नीति की नाकामी थी.’
उन्होंने कहा, ‘सरकार को जवाब देना चाहिए. इस हमले में शामिल कोई भी व्यक्ति नहीं बचना चाहिए. मुझे लगता है कि खासतौर पर गृहमंत्रालय नाकाम रहा है.’ उधर, चेन्नई से प्राप्त खबर के मुताबिक द्रमुक प्रमुख एम करूणानिधि ने विस्फोट पर चिंता जताते हुए कहा कि देश की राजधानी को असुरक्षित नहीं रहना चाहिए. उन्होंने संसद पर 2001 में हुए हमले को याद करते हुए यह बात कही.
उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘दिल्ली में इस तरह की घटनाओं को होने की खबर सुनना या पढ़ना कष्टदायी होता है.’ वहीं, जनता पार्टी के अध्यक्ष सुब्रह्मण्यम स्वामी ने इस घटना के मद्देनजर गृहमंत्री पी चिदंबरम के इस्तीफे की मांग की.
उन्होंने कहा, ‘संप्रग सरकार एक आतंकवाद निरोधक रणनीति तैयार करने में नाकाम रही है. मैं यह भी मांग करता हूं कि प्रधानमंत्री को अपनी बांग्लादेश यात्रा रद्द कर देनी चाहिए.’