भाजपा ने कृषि मंत्री शरद पवार पर आईपीएल मामले में व्यक्तिगत हितों के लिए पहले देश को गुमराह करने और अब बचने के लिए थोथी दलीलें देने का आरोप लगाते हुए उनसे तुरंत इस्तीफा देने की मांग की.
पार्टी प्रवक्ता रविशंकर प्रसाद ने संवाददाताओं से कहा, ‘खाद्यान्न मामलों में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी करने वाले पवार अब खेल के जरिए घपले कर रहे हैं. इस घपले के उजागर होने से साफ हो गया है कि क्रिकेट के प्रति उनका प्यार नहीं है, जैसा कि वह दावा करते हैं, बल्कि उनका प्रेम क्रिकेट व्यापार से है.’
उन्होंने पवार के परिवार से जुड़ी कंपनी सिटी कारपोरेशन द्वारा पुणे आईपीएल टीम के लिए बोली लगाने के मामले की व्यापक जांच कराने की प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से मांग की. उन्होंने कहा कि पवार अगर खुद से इस्तीफा नहीं देते हैं तो शासन में शुचिता की बार-बार बात करने वाले सिंह को उन्हें बर्खास्त करना चाहिए.
प्रसाद ने पवार के इन तर्को को ‘थोथी दलीलें’ बताया कि पुणे टीम के लिए सिटी कारपोरेशन की ओर से नहीं बल्कि उसके प्रबंध निदेशक अनिरूद्ध देशपांडे ने ‘व्यक्तिगत तौर’ पर बोली लगाई गई थी. उन्होंने पवार की इस दलील को भी हास्यास्पद बताया कि देशपांडे ने कहा था कि सफल बोली लग जाने पर वह उसे किसी दूसरी कंपनी के नाम पर लेंगे.
भाजपा प्रवक्ता ने इस बात की जांच करने की मांग की कि देशपांडे ने जो 1176 करोड़ रूपए की असफल बोली लगाई थी, उस धन का स्रोत क्या था. उधर पवार ने पुणे आईपीएल टीम के लिए सिटी कारपोरेशन की विफल बोली में अपने परिवार के शामिल होने की खबरों को खारिज करते हुए कहा ‘मैं पहले भी कह चुका हूं कि न मैं और न ही मेरे परिवार का कोई सदस्य किसी आईपीएल टीम या बोली प्रकिया से जुड़ा है.’