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'हाथी' छोड़ 'साइकिल' पर सवार हुए नरेश अग्रवाल

बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के राज्यसभा सदस्य नरेश अग्रवाल शुक्रवार को पार्टी का दामन छोड़कर एक बार फिर समाजवादी पार्टी (सपा) में शामिल हो गए. अग्रवाल बसपा नेतृत्व द्वारा आगामी विधानसभा चुनाव के लिए अपने बेटे नितिन अग्रवाल का टिकट काटे जाने से नाराज थे.

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बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के राज्यसभा सदस्य नरेश अग्रवाल शुक्रवार को पार्टी का दामन छोड़कर एक बार फिर समाजवादी पार्टी (सपा) में शामिल हो गए. अग्रवाल बसपा नेतृत्व द्वारा आगामी विधानसभा चुनाव के लिए अपने बेटे नितिन अग्रवाल का टिकट काटे जाने से नाराज थे.

लखनऊ स्थित सपा मुख्यालय में पार्टी प्रमुख मुलायम सिंह यादव ने नरेश अग्रवाल को पार्टी की सदस्यता ग्रहण कराई. नरेश के साथ उनके बेटे एवं हरदोई (सदर) से बसपा विधायक नितिन अग्रवाल और जिले की बावन सीट से बसपा विधायक राजेश्वरी देवी व अन्य कई समर्थकों ने भी सपा की सदस्यता ग्रहण की.

ज्ञात हो कि अग्रवाल वर्ष 2007 के विधानसभा चुनाव में सपा के टिकट पर जीतने के बाद भी बसपा में शामिल हो गए थे. बसपा प्रमुख मायावती ने उन्हें राज्यसभा सदस्य बनाया था और उनके इस्तीफा देने से खाली हुई सीट पर उनके बेटे नितिन को टिकट दिया था.

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अग्रवाल ने कहा कि वह चार साल बाद बसपा से आजाद हुए हैं. बसपा में सांसदों और विधायकों को अपनी बात कहने की आजादी नहीं होती. उन्होंने कहा कि अब उनका लक्ष्य मुलायम सिंह यादव को मुख्यमंत्री बनाना है. मुलायम सिंह यादव ने कहा कि आज का दिन सपा के लिए बहुत महत्वपूर्ण है. नरेश अग्रवाल चुनाव के दौरान पूरे प्रदेश में सपा का प्रचार करेंगे.

इससे पहले शुक्रवार सुबह बसपा ने नरेश अग्रवाल और उनके बेटे नितिन को पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोप में बसपा ने निष्कासित कर दिया.

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