सीबीआई ने पाकिस्तान को सौंपी गई 'मोस्ट वांटेड' की लिस्ट से पुणे के वजहुल कमर खान का नाम हटा दिया है. गृहमंत्री पी. चिदंबरम ने मंगलवार को ही इस संबंध में हुई भूल स्वीकार कर ली थी.
भारत की उस वक्त बहुत किरकिरी हो गई, जब पाकिस्तान को सौंपे गए ‘50 सर्वाधिक वांछितों’ की सूची में शामिल एक भगोड़े अपराधी के ठाणे में रहने की जानकारी मिली. इस मसले पर सरकार को सूची में हुई गड़बड़ी की जांच का आदेश देना पड़ गया.
पाकिस्तान को सौंपी गई भगोड़ों की सूची में शामिल वजहुल कमर खान के बारे में यह जानकारी मिली कि वह मुंबई के उपनगरीय इलाके पुणे में रहता है. गौरतलब है कि वर्ष 2003 के मुलुंद ट्रेन विस्फोट के मामले में कथित भूमिका निभाने के चलते खान को पिछले साल गिरफ्तार किया गया था.
पुलिस सूत्रों ने बताया कि जमानत पर रिहा होने के बाद से वह ठाणे के वागले एस्टेट में अपनी मां, पत्नी और बच्चों के साथ रह रहा है. इसबीच, गृहमंत्री पी चिदंबरम ने इस गड़बड़ी को तवज्जो नहीं देते हुए कहा कि एक गलत नाम को बड़ा मुद्दा नहीं बनाया जाना चाहिए.
उन्होंने कहा, ‘मैंने यह सूची तैयारी नहीं की. यह महीनों पहले तैयार की गई. सिर्फ एक नाम, या तो यह एक ही व्यक्ति है या एक ही नाम के दो लोग हैं, हमें मामले को देखना होगा.’ गृहमंत्री ने अगरतला में कहा, ‘यदि आप 50 लोगों की सूची तैयार करते हैं, मान लीजिए कि ‘एक नाम’ में हमने गलती की लेकिन 49 नाम सही हैं. मुझे नहीं लगता कि हमें इसे बड़ा मुद्दा बनाना चाहिए. यह संभव है कि कोई गलती हुई होगी या एक ही नाम के दो लोग रहे होंगे. मैं इसकी जांच करूंगा.’ उधर, आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि इस बारे में जांच के आदेश दिए गए हैं कि खान का नाम सूची में कैसे शामिल हो गया.
सूची में खान का नाम 41वें नम्बर पर है. यह सूची मार्च में पाकिस्तान को सौंपी गई थी और इसे पिछले हफ्ते सार्वजनिक किया गया. गौरतलब है कि इस सूची को महाराष्ट्र पुलिस, राष्ट्रीय जांच एजेंसी और सीबीआई के परामर्श से तैयार किया गया है. जांच के दौरान इस सूची को तैयार करने में विभिन्न चरणों में अपनाई गई पूरी प्रक्रिया की पड़ताल की जाएगी और खान का नाम शामिल करने में जिम्मेदार रहे अधिकारियों का पता लगाया जाएगा.
बहरहाल, मोस्ट वांटेड की सूची से वजहुल का नाम हटाए जाने के बाद अब मामला शांत पड़ जाने की उम्मीद की जा रही है.