जापान में आये अब तक के सबसे भीषण भूकंप के कारण आयी सुनामी ने देश के पूर्वोत्तर तटवर्ती नगरों और गांवों को कीचड़ और मलबे के बंजरभूमि में तब्दील कर दिया है."/> जापान में आये अब तक के सबसे भीषण भूकंप के कारण आयी सुनामी ने देश के पूर्वोत्तर तटवर्ती नगरों और गांवों को कीचड़ और मलबे के बंजरभूमि में तब्दील कर दिया है."/> जापान में आये अब तक के सबसे भीषण भूकंप के कारण आयी सुनामी ने देश के पूर्वोत्तर तटवर्ती नगरों और गांवों को कीचड़ और मलबे के बंजरभूमि में तब्दील कर दिया है."/>
जापान में आये अब तक के सबसे भीषण भूकंप के कारण आयी सुनामी ने देश के पूर्वोत्तर तटवर्ती नगरों और गांवों को कीचड़ और मलबे के बंजरभूमि में तब्दील कर दिया है.
सुनामी की लहरों के कारण बंदरगाह नगर मिनामिसनरिका वास्तव में अब अस्तित्व ही नहीं है. वहां की साढ़े 17 हजार जनसंख्या में से आधी आबादी का कोई अता पता नहीं है. नगर में कुछ बची इमारतों में एक अस्पताल भी शामिल है.
कमैशी शहर के कुछ नागरिक उन भाग्यशाली लोगों में शामिल हैं जिन्हें सुनामी आने से पहले साइरन ने सावधान कर दिया. इसके बाद वे लोग उंचे स्थानों पर शरण ले ली और वहां से सुनामी की लहरों से अपने घर को तबाह होते हुए देखा.
पानी के तेज बहाह कारों को खिलौने की तरह बहा ले गया. सुनामी ने सेंदई शहर में ट्रकों को उलट दिया. तटों पर पोत कंटेनर के ढेर लगे हुए हैं.
कंबल में लिपटी एक वृद्ध महिला ने रोते हुए बताया कि वह किसेनुमा नगर में कैसे अपनी जान बचायी.
महिला ने कहा कि मैं अपने पति के साथ सुरक्षित स्थान पर जाने की कोशिश कर रही थी लेकिन तभी पानी की लहरों ने हमारे इलाके को अपनी चपेट में ले लिया. हम भागकर एक अंजान व्यक्ति के मकान की दूसरी मंजिल पर पहुंचे. पानी मकान की दूसरी मंजिल तक भी पहुंच गया और हमारी आंखों के सामने ही मकान स्वामी और उसकी पुत्री बह गए. हम यह देखकर भी कुछ नहीं कर सके.