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खाने-पीने की चीजों की महंगाई दर घटकर 8 प्रतिशत हुई

19 नवंबर को समाप्‍त हुए सप्‍ताह में खाने पीने की चीजों की महंगाई दर में गिरावट दर्ज की गई है. गेहूं, आलू, प्याज सहित कुछ अन्य आवश्यक उपभोक्ता वस्तुओं के दाम घटने से खाद्य मुद्रास्फीति दर में गिरावट आई है.

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19 नवंबर को समाप्‍त हुए सप्‍ताह में खाने पीने की चीजों की महंगाई दर में गिरावट दर्ज की गई है. गेहूं, आलू, प्याज सहित कुछ अन्य आवश्यक उपभोक्ता वस्तुओं के दाम घटने से खाद्य मुद्रास्फीति दर में गिरावट आई है.

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गत 19 नवंबर को समाप्त सप्ताह में थोक मूल्य सूचकांक पर आधारित खाद्य मुद्रास्फीति एक सप्ताह पहले की तुलना में एक प्रतिशत अंक घटकर 8 प्रतिशत रह गई. आलू, प्याज और गेहूं के दाम कम हुये हैं लेकिन अभी भी चावल तथा अन्य खाद्य पदार्थों के दाम में हल्की वृद्धि का रुख बना हुआ है.

इससे पिछले सप्ताह 12 नवंबर को समाप्त सप्ताह में खाद्य मुद्रास्फीति 9.01 प्रतिशत पर थी और उससे भी पहले सप्ताह में 10.63 प्रतिशत दर्ज की गई थी. यह लगातार दूसरा सप्ताह है जब भारी गिरावट दर्ज की गई. खाद्य मुद्रास्फीति में गिरावट से सरकार को भी राहत मिलने की उम्मीद है.

महंगाई, खुदरा क्षेत्र में एफडीआई, कालाधन और भ्रष्टाचार सहित कई मुद्दों को लेकर विपक्षी दल सरकार पर हमलावर बने हुये हैं. बहरहाल, महंगाई के मोर्चे पर सरकार को कुछ राहत मिलती दिखाई दे रही है. गत 16 जुलाई को समाप्त सप्ताह में खाद्य मुद्रास्फीति 7.33 प्रतिशत रही थी, उसके बाद यह इसका सबसे न्यूनतम स्तर है.

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वित्त मंत्री प्रणव मुखर्जी ने राहत महसूस करते हुये कहा, ‘यदि यह रुझान जारी रहता है तो शायद वर्ष की समाप्ति पर मुद्रास्फीति घटकर 6 से 7 प्रतिशत रह जायेगी.’ उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार साल दर साल आधार पर प्याज के दाम इस समय 40.65 प्रतिशत घटे हैं जबकि आलू करीब 11 प्रतिशत सस्ता हुआ है.

गेहूं के दाम भी 4.71 प्रतिशत नीचे हैं. चावल के दाम ढाई प्रतिशत ऊंचे हैं जबकि अन्य सब्जियों में 5.13 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई. रोजमर्रा की कई वस्तुओं के दाम पिछले साल इसी अवधि की तुलना में कुछ नीचे आये हैं लेकिन जहां तक दूध, अंडा, मछली, मांस के दाम की बात है इसमें दहाई अंक की वृद्धि बरकरार है.

विशेषज्ञों के अनुसार खाद्य मुद्रास्फीति में आई गिरावट उद्योगों और बैंकों से कर्ज लेने वाले संभावित ग्राहकों के लिये भी अच्छा संकेत है. इससे रिजर्व बैंक आगामी मौद्रिक समीक्षा में ब्याज दरों में और वृद्धि करने से बचेगा. रिजर्व बैंक 16 दिसंबर को नीति की मध्यतिमाही समीक्षा करेगा.

इकरा की अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा, ‘आगामी 16 दिसंबर को होने वाली मध्यतिमाही समीक्षा में रिजर्व बैंक द्वारा नीतिगत दरों को अपरिवर्तित रखने की संभावना है.’ खाद्य मुद्रास्फीति दर में लगातार दूसरे सप्ताह गिरावट आई है. पिछले चार महीनों में यह इसका न्यूनतम स्तर है.

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उधर, सकल मुद्रास्फीति अभी भी नौ प्रतिशत से ऊपर दहाई अंक के आसपास बनी हुई है. अक्तूबर माह में यह 9.73 प्रतिशत रही है. रिजर्व बैंक ने सकल मुद्रास्फीति मार्च अंत तक सात प्रतिशत रहने का अनुमान व्यक्त किया है.

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