समाजसेवी अन्ना हजारे ने रालेगण में केंद्र सरकार और प्रधानमंत्री के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए कहा कि लोकपाल को लेकर सरकार की नीयत साफ नहीं है.
सरकार के सिटीजन चार्टर बिल पर अन्ना ने कहा कि यह बिल वाकई में बहुत कमजारे है. इस बिल के अनुसार 5 लोग पूरे देश की समस्या का समाधान करेगी. यह बिल देश की जनता के साथ एक भद्दा मजाक है. सिटीजन चार्टर में सरकार ने जिस तरह की व्यवस्था बनाई है वह दो दिन में ही ठप हो जाएगी.
अन्ना हजारे ने उत्तराखंड सरकार की तारीफ करते हुए कहा कि वहां कि सरकार ने लोकायुक्त बिल बनाया है जो एक अच्छा बिल है. उन्होंने कहा कि उत्तराखंड सरकार ने अभी इस बिल का प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेजा है लेकिन केंद्र सरकार की नीयत का पता इसी बात से लगता है कि वह इसे भी अनुमति नहीं दे रही है.
अन्ना हजारे ने मुंबई में अपने अनशन के बारे में पत्रकारों को बताया कि हमने यह तय किया 27 से लेकर 29 दिसंबर तक हम अनशन करेंगे. इस बिल सरकार अगर कमजोर बिल लेकर आती है तो उसके बाद 30 दिसंबर से लेकर 1 जनवरी तक पूरे देश में जेल भरो आंदोलन होगा.
अन्ना ने रामलीला मैदान में प्रधानमंत्री के पत्र का जिर्क करते हुए कहा कि जब रामलीला मैदान में मेरा आंदोलन चल रहा था तो पीएम ने मुझे पत्र लखकर मजबूत लोकपाल, सिटीजन चार्टर और लोकायुक्त के लिए वादा किया था. लेकिन मुझे पत्र लिखने के बाद सरकार ने सिटीजन चार्टर लाकर खुद ही ससंद की अवमान की है.
उन्होंने एक बार फिर से तलख अंदाज अपनाते हुए कहा कि इस सरकार को देश की जनता सबक सिखाएगी. उन्होंने कहा कि यह आंदोलन अन्ना का नहीं बल्कि पूरे देश का है. सरकार देश की जनता के साथ धोखाधड़ी कर रही. सरकार अंधी और बहरी हो गई है उसे जनता का दुख दिखाई और सुनाई नहीं दे रहा है.
अन्ना ने कहा कि सरकार अपने रस्ते पर चले और हम अपने रस्ते पर चलेंगे. उन्होंने एक बार फिर से इस बात का अह्वान किया कि जब तक शरीर में प्राण है जब तक लड़ता रहूंगा. पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों को लेकर भी अन्ना ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि मैं खुद इस राज्यों में सरकार के खिलाफ आवाज बुलंद करूंगा.