कोयला ब्लाक आवंटन में कथित अनियमितता की नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (कैग) की रिपोर्ट पर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के इस्तीफे की मांग को हास्यास्पद कहकर खारिज करते हुए सरकार ने भाजपा से सकारात्मक विपक्ष की भूमिका निभाते हुए इस पर संसद में चर्चा करने को कहा है.
इस मुद्दे पर विपक्ष के हंगामे के कारण संसद के दोनों सदनों की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित होने के बाद प्रधानमंत्री ने संसद भवन परिसर में कहा, ‘ हम चर्चा कराने को तैयार हैं. हम इस विषय में उठाये जाने वाले सभी मुद्दों का संतोषप्रद उत्तर दे सकते हैं.’ संसदीय कार्य मंत्री पवन कुमार बंसल ने कहा कि विपक्ष की मांग हास्यास्पद और आधारहीन है. भाजपा तिल का ताड़ बनाने की कोशिश कर रही है.
उन्होंने कहा, ‘उन्हें इस विषय पर सदन में चर्चा करनी चाहिए. इस विषय पर उनकी भूमिका ठीक नहीं है. वे जानते हैं कि इसमें कुछ भी नहीं है. फिर भी वह एक ऐसी स्थिति पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं जो है ही नहीं.’
वहीं, भाजपा के वरिष्ठ नेता मुरली मनोहर जोशी ने सरकार के पूरी तरह से विफल होने का आरोप लगाते हुए कहा, ‘ कैग की रिपोर्ट में कोयला ब्लाक आवंटन में भारी अनियमितता की बात कही गई है जो निजी कंपनियों को फायदा पहुंचाने से जुड़ा है. प्रधानमंत्री स्वयं इस मंत्रालय (कोयला) के लम्बे समय तक प्रभारी रहे हैं. ऐसे में उनकी जवाबदेही बनती है.’
यह पूछे जाने पर कि कैग की रिपोर्ट के आलोक में लोक लेखा समिति (पीएसी) क्या प्रधानमंत्री से भी पूछताछ करेगी, उन्होंने कहा कि जब वह किसी मंत्रालय के स्वयं काफी समय तक प्रभारी रहे हों, तो पूछताछ की जानी चाहिए.
लोक लेखा समिति के अध्यक्ष जोशी ने आरोप लगाया कि मनमोहन सिंह के नेतृत्व वाली सरकार पूरी तरह से विफल हो गई है. प्रधानमंत्री का अपना कार्यकाल विफलताओं की कहानी बयां करता है, जहां एक के बाद एक घोटाले हो रहे हैं, देश में उपद्रव हो रहा है, अर्थव्यवस्था की हालत खस्ता है और कोई नीति नहीं है. सूचना एवं प्रसारण मंत्री अंबिका सोनी ने कहा कि भाजपा बिना किसी सुबूत के प्रधानमंत्री से इस्तीफे की मांग कर रही है.
यह पहली बार नहीं है जब भाजपा प्रधानमंत्री से इस्तीफा मांग रही है, संसद के हर सत्र में इस प्रकार की मांग करना उसका चलन हो गया है. उन्होंने कहा कि भाजपा इस विषय पर सदन में चर्चा क्यों नहीं करती है? क्यों यह बात सामने नहीं आने देना चाहती कि जब उसकी सरकार (भाजपा नीत राजग) थी तब क्या नीति थी और क्या तरीके थे.
सोनी ने कहा, ‘भाजपा को प्रधानमंत्री से इस्तीफे की मांग करने की बजाए सकारात्मक विपक्ष की भूमिका निभानी चाहिए.’ गौरतलब है कि कैग की रिपोर्ट में कथित अनियमितता के मुद्दे पर संसद के दोनों सदनों में विपक्ष के हंगामे के कारण मंगलवार को प्रश्नकाल नहीं चला.
कैग की रिपोर्ट में कोयला ब्लाक आवंटन में बिना बोली लगाये, दिल्ली हवाई अड्डे के विकास और एक बिजली परियोजना के लिए कोयला देने जैसे मामलों में निजी कंपनियों को कथित रूप से 3.06 लाख करोड़ रुपये का फायदा पहुंचाने का अनुमान लगाया गया है.