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दुनिया के लिये माडल हो सकता है भारत: ओबामा

अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कृषि क्षेत्र में द्विपक्षीय सहयोग को मजबूत बनाने को लेकर रूचि जतायी और कहा कि भारत खाद्य सुरक्षा से जूझ रहे विश्व के लिये माडल हो सकता है.

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अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कृषि क्षेत्र में द्विपक्षीय सहयोग को मजबूत बनाने को लेकर रूचि जतायी और कहा कि भारत खाद्य सुरक्षा से जूझ रहे विश्व के लिये माडल हो सकता है.

ओबामा ने कहा कि दोनों देशों के बीच सहयोग से भारत में 60 के दशक में पहली हरित क्रांति आयी. उन्होंने आगे कहा, ‘मैं प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के साथ चर्चा करूंगा कि कैसे 21वीं सदी में सहयोग को आगे बढ़ा सकते हैं. इससे न केवल भारत बल्कि अमेरिका और विश्व को फायदा होगा.’ प्रदर्शनी देखने और ग्रामीणों से बातचीत के बाद उन्होंने भारतीय कृषि के बारे में अपने अनुभवों को सेंट जेवियर्स कालेज के छात्रों के साथ साझा किया.

राष्ट्रपति ने कहा, ‘मैंने दो प्रदर्शनियां देखी जिसमें हमारे बीच सहयोग को उकेरा गया था. प्रदर्शनी कृषि और खाद्य सुरक्षा पर आधारित थी. नवप्रवर्तन और प्रौद्योगिकी से भारतीय कृषि में महत्वपूर्ण बदलाव आये हैं.’

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ओबामा ने बताया कि कैसे एक किसान ने उन्हें सेलफोन पर कृषि सूचना प्राप्त करने के बारे में जानकारी दी जबकि दूसरे ने ऐसे उपकरण दिखाये जिसका आकार और वजन महिलाओं के हिसाब से तैयार किये गये थे. इससे उत्पादकता बढ़ाने में मदद मिलती है. इनमें से कई शोध अमेरिका और भारत के बीच सार्वजनिक और निजी सहयोग में किये गये हैं.

भारत और अमेरिका ने कृषि और खाद्य सुरक्षा में सहयोग के लिये मार्च 2010 में सहमति पत्र पर दस्तखत किये थे.

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