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कैबिनेट फेरबदल पर पीएम और सोनिया की बैठक

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने इन अटकलों के बीच प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से मुलाकात की कि इस सप्ताह के आखिर में केंद्रीय मंत्रिमंडल में फेरबदल हो सकता है. सिंह से उनके आवास पर मिलने गईं सोनिया के साथ उनके राजनीतिक सचिव अहमद पटेल भी थे.

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कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने इन अटकलों के बीच प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह से मुलाकात की कि इस सप्ताह के आखिर में केंद्रीय मंत्रिमंडल में फेरबदल हो सकता है. सिंह से उनके आवास पर मिलने गईं सोनिया के साथ उनके राजनीतिक सचिव अहमद पटेल भी थे.

प्रधानमंत्री ने कल राष्ट्रपति प्रतिभा पाटिल से मुलाकात की थी. इसे हालांकि नियमित मुलाकात बताया गया लेकिन ऐसे संकेत हैं कि इस सप्ताह के आखिर में संप्रग मंत्रिमंडल में फेरबदल की संभावना है.

सूत्रों का कहना है कि सिंह इस अवसर का उपयोग मंत्रिमंडल में युवा चेहरे शामिल करने में कर सकते हैं.

शरद पवार और कपिल सिब्बल जैसे मंत्रियों के पास एक से अधिक मंत्रालयों का प्रभार है। समझा जाता है कि उनसे कुछ मंत्रालय लिए जाएंगे.

मंत्रिमंडल में ए राजा, पृथ्वीराज चव्हाण और शशि थरूर के इस्तीफे के बाद कुछ पद रिक्त भी हैं. फेरबदल का मुख्य उद्देश्य इन रिक्तियों को भरना बताया जाता है.

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कांग्रेस में आम राय है कि वित्त, गृह, रक्षा और विदेश मंत्रालय जैसे बड़े मंत्रालयों को शायद यथावत रहने दिया जाएगा.

पवार के पास अभी कृषि, खाद्य और उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय हैं. पूर्व में वह अपना भार कम करने की इच्छा जता चुके हैं.

इसी तरह सिब्बल के पास मानव संसाधन विकास मंत्रालय, दूरसंचार और विज्ञान तथा प्रौद्योगिकी मंत्रालय हैं. हो सकता है कि वह विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय छोड़ दें. कहा जाता है कि वह मानव संसाधन विकास मंत्रालय अपने पास रखना चाहते हैं जिसमें उन्होंने कुछ सुधारों की शुरूआत की है और जिन्हें वह आगे बढ़ाने के इच्छुक हैं.{mospagebreak}

केंद्रीय मंत्रियों सी पी जोशी (ग्रामीण विकास) और विलासराव देशमुख (भारी उद्योग) को पार्टी में कोई जिम्मेदारी सौंपी जा सकती है.

राजा द्रमुक के थे और उनके हटने के बाद द्रमुक को एक मंत्री पद मिल सकता है. पूर्व मंत्री रह चुके टी आर बालू का नाम उन नामों में शामिल है जिन्हें पार्टी ने राजा के स्थान पर मंत्री पद के लिए सुझाया है.

तृणमूल कांग्रेस के नेता सुदीप बंधोपाध्याय को संप्रग में कांग्रेस के बाद सबसे बड़े घटक के प्रतिनिधि के तौर पर मंत्री पद मिल सकता है.

केंद्रीय मंत्रिमंडल में तीन राज्यों, छत्तीसगढ़, गोवा और मणिपुर का कोई प्रतिनिधि नहीं है.

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सोनिया ने पिछले सप्ताह दो से अधिक बार सिंह के साथ गहन विचारविमर्श किया. कहा जा रहा है कि यह विचारविमर्श मंत्रिमंडल में फेरबदल के बारे में था.

अगर मंत्रिमंडल में फेरबदल होता है तो मई 2009 में संप्रग सरकार के दूसरे कार्यकाल की शुरूआत के बाद यह पहला फेरबदल होगा.

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