सचिन तेंदुलकर के 46वें टेस्ट शतक और पुछल्ले बल्लेबाजों के पराक्रम के बावजूद भारत को दक्षिण अफ्रीका के हाथों पहले टेस्ट क्रिकेट मैच में पारी और छह रन से करारी शिकस्त का सामना करना पड़ा जिससे उसका नंबर एक ताज भी खतरे में पड़ गया.
दक्षिण अफ्रीका ने अपनी पहली पारी छह विकेट पर 558 रन के स्कोर पर समाप्त घोषित करके भारत को पहली पारी में 233 रन पर ढेर कर दिया और फिर उसे फालोआन के लिये आमंत्रित किया. भारतीय टीम के सामने पहला लक्ष्य 325 रन तक पहुंचना था जिससे कि वह पारी की हार से बच सके.
तेंदुलकर ठीक 100 रन बनाकर पवेलियन लौटे जबकि निचले क्रम में हरभजन सिंह (39), वृद्धिमान साहा (36) और जहीर खान (33) ने दक्षिण अफ्रीकी गेंदबाजों का डटकर सामना किया लेकिन वे भारत की पारी से हार नहीं टाल पाये और उसकी पूरी टीम मैच के चौथे दिन ही 319 रन पर ढेर हो गयी.
यह टेस्ट क्रिकेट में 36वां अवसर है जबकि भारतीय टीम को पारी की हार का सामना करना पड़ा. वह अपनी सरजमीं पर 15वीं बार पारी से पराजित हुई. इससे पहले अप्रैल 2008 में अहमदाबाद में दक्षिण अफ्रीका ने ही उसे पारी और 90 रन से पराजित किया था जबकि जुलाई 2008 में उसे श्रीलंका से पारी और 239 रन से हार मिली थी.
दक्षिण अफ्रीका इस जीत के नायक डेल स्टेन रहे जिन्होंने दूसरी पारी में 57 रन देकर तीन विकेट सहित मैच में 108 रन देकर दस विकेट लिये. उसकी जीत की नींव वैसे हाशिम अमला (253) और जाक कैलिस (173) ने चौथे विकेट के लिये 340 रन की साझेदारी करके रखी थी.