अमेरिकी विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन ने कहा है कि अमेरिकी विशेष बलों की कार्रवाई में मारा गया अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी ओसामा बिन लादेन मुस्लिमों का संहारक था न कि शहीद, जैसा कि कुछ लोग उसे बताने की कोशिश कर रहे हैं.
नेशनल कांफ्रेंस आफ एडिटोरियल राइटर्स को संबोधित करते हुए हिलेरी ने कहा कि विदेश विभाग अब इस मुद्दे पर काम कर रहा है कि ‘लोगों को सहमत किया जाए कि वह एक हत्यारा था, शहीद नहीं ‘और बिन लादेन ने किसी और के मुकाबले मुसलमानों की सबसे अधिक हत्याएं कीं.
हिलेरी ने कहा, वह मुस्लिमों का संहारक था.’ उन्होंने इस बात को रेखांकित किया कि लादेन का दुनिया के विभिन्न हिस्सों में कई प्रभावशाली लोगों पर जबरदस्त असर था और अमेरिका को पहले ही इस प्रकार के प्रयास नजर आ रहे हैं कि अल कायदा नए नेता का फैसला करेगा.
हिलेरी ने कहा, उत्तराधिकारी का संकट एक अवसर मुहैया कराता है. बहुत से लोग कहते है कि अल जवाहिरी उसकी जगह लेगा. लेकिन यह पूरी तरह स्पष्ट नहीं है. उसकी उतनी वफादारी या प्रेरणा या शानदार इतिहास नहीं है.’
हिलेरी ने उम्मीद जताते हुए कहा,’ इसलिए मैं समझती हूं कि उसकी मौत, नेतृत्व से उसका हटना काफी महत्वपूर्ण है और दो अन्य बातें भी याद रखने की जरूरत है कि राष्ट्रपति बुश ने 9/11 के हमलों के बाद जब तालिबान से अल कायदा का साथ छोड़ने को कहा था तो उसने ऐसा नहीं किया था क्योंकि मुल्ला उमर के बिन लादेन से निजी संबंध थे. इसलिए इस घटना ने तालिबान से निपटने की ऐसी संभावनाओं का मार्ग खोला है जो पहले नहीं थीं.’
विदेश मंत्री ने कहा कि बिन लादेन की मौत के साथ अल कायदा और उसके आतंकवादी तंत्र को रोकने के प्रयास समाप्त नहीं होंगे.
हिलेरी ने कहा, अफगानिस्तान में, हमें अल कायदा और उसके तालिबान सहयोगियों से लड़ाई जारी रखनी होगी. संभवत: अब वे इस काम को गंभीरता से लेंगे जो हम आतंकवाद की समाप्ति के लिए सुलह समझौते की प्रक्रिया से करने की कोशिश कर रहे हैं. कुछ सवालों के जवाब में क्लिंटन ने कहा कि इस बात में कोई शक नहीं है कि अल कायदा कुछ हद तक बिखरा है जिसके अभियानों के पीछे लादेन का दिमाग था और उसकी प्रेरणा काम करती थी.
उन्होंने कहा,’वह ऐसा व्यक्ति था जिसकी वफादारी की लोग कसमें खाते थे, जब वे अल कायदा में शामिल होते थे . यह कोई एक संगठन की बात नहीं थी बल्कि एक व्यक्ति विशेष का मामला था.’