लोकपाल पर गठित संसद की स्थायी समिति ने अपनी रिपोर्ट संसद में पेश कर दी है. स्टैंडिंग कमेटी की रिपोर्ट को सरसरी तौर पर देखने से तो ऐसा ही मालूम पड़ता है कि यह टीम अन्ना को स्वीकार नहीं होगा और इस मसले पर टकराव तय है.
स्टैंडिंग कमेटी के अध्यक्ष अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा है कि रिपोर्ट में लोकपाल को संवैधानिक दर्जा दिए जाने की बात कही गई है.
अभिषेक मनु सिंघवी ने मीडिया से कहा कि प्रधानमंत्री को लोकपाल के दायरे में शामिल करने या न करने का मसला संसद पर छोड़ दिया गया है. उन्होंने कहा कि ग्रुप सी के कर्मचारी सीवीसी के तहत ही होंगे. रिपोर्ट में संसद के भीतर सांसदों के आचरण और सीबीआई को लोकपाल के दायरे से बाहर रखने जाने की सिफारिश की गई है.
सिंघवी ने कहा कि रिपोर्ट में सीवीसी, सीबीआई और लोकपाल के बीच संतुलन कायम किए जाने की बात कही गई है. बहरहाल, देश के लोगों की निगाहें लोकपाल बिल के सकारात्मक अंजाम की ओर टिकी हुई हैं.