भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने 2011-12 में देश की अर्थव्यवस्था की विकास दर आठ फीसदी रहने का अनुमान लगाया है. यह अनुमान ऐसे वक्त में लगाया जा रहा है जब औद्योगिक उत्पादन के मासिक आंकड़ों में भारी अस्थिरता देखी जा रही है.
भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम के बाद आरबीआई के डिप्टी गवर्नर सुबीर गोकर्ण ने पत्रकारों से बताया, 'हमारे अनुसार 2011-12 में विकास दर आठ फीसदी रहेगी. हमने नीतिगत विवरण में इसे उल्लेखित किया है.'
उन्होंने कहा कि वार्षिक अनुमानों को मुद्रा स्फिति और औद्योगिक उत्पादन के मासिक और साप्ताहिक उतार-चढ़ावों पर आधारित नहीं करना चाहिए. गोकर्ण ने कहा, 'जुलाई में अपने नीतिगत विवरण में हमने कहा था कि वृद्धि के मंद होने के कुछ लक्षण दिख रहे हैं लेकिन यह व्यापक नहीं हैं.
जून माह के औद्योगिक उत्पादन सूचकांक ने इस सिद्ध भी कर दिया.' भारत का औद्योगिक उत्पादन सूचकांक इस वर्ष के जून माह में 8.8 फीसदी रहा जबकि मई में इसे 5.6 फीसदी दर्ज किया गया.
गोकर्ण ने कहा कि जून के आंकड़े उत्साहवर्धक हैं लेकिन इस आधार पर केंद्रीय बैंक अपनी नीतियों का निर्धारण नहीं कर सकता. प्रधानमंत्री की आर्थिक मामलों की सलाहकार समिति ने बजटीय अनुमानों (9 फीसदी) के विपरीत अर्थव्यवस्था की विकास दर 8.2 फीसदी होने का अनुमान लगाया है.