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सोनम हत्‍याकांड की जांच सीबीआई से कराने में आपत्ति नहीं: मायावती

उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री मायावती ने कहा कि उन्हें लखीमपुर खीरी जिले के निघासन थाना परिसर में एक नाबालिग लड़की की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत के मामले की सीबीआई जांच कराने में कोई आपत्ति नहीं है.

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उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री मायावती ने कहा कि उन्हें लखीमपुर खीरी जिले के निघासन थाना परिसर में एक नाबालिग लड़की की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत के मामले की सीबीआई जांच कराने में कोई आपत्ति नहीं है लेकिन उन्हें डर है कि कहीं इस मामले का हश्र भी आरुषि हत्याकांड की तरह न हो जाए.

मायावती ने संवाददाताओं से कहा ‘लड़की के परिजन अगर मामले की सीबीआई या किसी अन्य एजेंसी से जांच कराना चाहते हैं तो मेरी सरकार को इसमें कोई आपत्ति नहीं है.’ उन्होंने कहा ‘हालांकि हमें डर सिर्फ इस बात का है कि कहीं यह मामला भी नोएडा के आरुषि हत्याकांड की तरह खुर्दबुर्द न हो जाए.’

मुख्यमंत्री ने निघासन थाना परिसर में 14 वर्षीय लड़की सोनम की पुलिसकर्मियों द्वारा कथित रूप से बलात्कार के बाद हत्या किए जाने की घटना की निंदा करते हुए कहा कि वह पीड़ित परिवार को विश्वास दिलाना चाहती हैं कि इस मामले के दोषी लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.

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मायावती ने कहा ‘‘मैं यह कहना चाहती हूं कि महिलाओं के खिलाफ जब भी इस तरह की अमानवीय घटना हो तो विपक्षी दल दलगत राजनीति से उपर उठकर अपराधियों को पकड़ने में मदद करें. उन्हें ऐसे मामलों पर गंदी राजनीति नहीं करनी चाहिए.’

उन्होंने आरोप लगाया ‘महिलाओं पर जो भी अत्याचार हुए हैं उनके लिये पूर्ववर्ती सरकारों को जिम्मेदार ठहराया जाना चाहिए.’ मायावती ने आरोप लगाया ‘विपक्षी पार्टियों ने अपने-अपने कार्यकाल में अपने फायदे के लिये बड़ी तादाद में पेशेवर माफिया और अपराधी तैयार किये.’ उन्होंने कहा ‘उन पार्टियों ने सरकारी तंत्र में भ्रष्टाचार और अमानवीयता भरी. हमें यह बुराई उनसे विरासत में मिली है.’

मुख्यमंत्री ने केन्द्र पर सरकारी आयोगों का राजनीतिकरण करने का आरोप लगाते हुए कहा ‘केन्द्र सरकार उत्तर प्रदेश को छोड़कर किसी और राज्य में दलितों पर होने वाले अत्याचार की जांच के लिये अपने आयोगों के दलों को नहीं भेजती है.’ इस बीच, राज्य सरकार ने लखीमपुर खीरी के पुलिस अधीक्षक डी. के. राय को निलम्बित कर दिया है. सरकार उन्हें पद से पहले ही हटा चुकी है.

मायावती ने आरोप लगाया कि कांग्रेस शासित राज्य दिल्ली में महिलाओं पर अत्याचार की घटनाएं लगातार हो रही हैं लेकिन वहां पर महिला आयोग तथा मानवाधिकार आयोग समेत किसी भी आयोग को जांच के लिये नहीं भेजा जा रहा है. ऐसा इसलिये हो रहा है क्योंकि वहां कांग्रेस की सरकार है.

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आयोगों के जरिये उत्तर प्रदेश सरकार को निशाना बनाए जाने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय आयोगों के मुख्यालय दिल्ली में ही स्थित हैं लेकिन उन्हें वहां हो रहे अपराध नजर नहीं आते. केन्द्र उत्तर प्रदेश में होने वाली घटनाओं की जांच के लिये इन आयोगों को तुरंत भेज देता है.

गौरतलब है कि संदिग्ध परिस्थितियों में मृत 14 वर्षीय सोनम का शव गत शुक्रवार को देर रात जिले के निघासन थाना परिसर में एक पेड़ से लटका मिला था. लड़की के परिजनों ने आरोप लगाया है कि बलात्कार के बाद उसकी हत्या की गई है .

इस मामले में थानाध्यक्ष समेत 11 पुलिसकर्मियों को निलम्बित कर चार पुलिसकर्मियों के खिलाफ साक्ष्य मिटाने का मुकदमा दर्ज किया गया है.

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