दूरसंचार नियामक ट्राई ने नई दूरसंचार कंपनियों के खिलाफ कारवाई तेज करते हुये गुरुवार को सरकार से कहा कि एतिसलात (स्वान), यूनिनोर तथा वीडियोकान सहित पांच नई दूरसंचार कंपनियों को दिए गए 69 लाइसेंस रद्द कर दिये जाएं.
भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकार (ट्राई) ने इन कंपनियों द्वारा नियमों के तहत नेटवर्क शुरू करने संबंधी नियमों में देरी या अपर्याप्तता को देखते हुए इस कड़े कदम की सिफारिश दूरसंचार मंत्रालय से की है.
उल्लेखनीय है कि ट्राई ने यह कदम तब उठाया है जब नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (कैग) वर्ष 2008 में नई कंपनियों को लाइसेंस देने में अनियमिततायें बरतने के लिए मंत्रालय की कड़ी आलोचना कर चुका है. कैग ने कहा है कि लाईसेंस आवंटन में बरती गई अनियमितताओं के कारण सरकारी खजाने को 1.76 लाख करोड़ रुपये का चूना लगा.
ट्राई ने एतिसलात को 15 सर्किलों में दिए गए लाइसेंस रद्द करने को कहा गया है. यह कंपनी पहले स्वान नाम से जानी जाती थी और कैग का कहना है कि इसने अनिल अंबानी ग्रुप की 'फ्रंट' कंपनी के रूप में काम किया. {mospagebreak}
इसी तरह ट्राई ने यूनिटेक समूह की यूनिनोर के आठ सर्किलों में, सिस्तेमा श्याम के दस और वीडियोकान के दस और लूप के 19 लाइसेंस रद्द करने की सिफारिश की है. उल्लेखनीय है कि 2008 में 2जी स्पेक्ट्रम का आवंटन 2001 की कीमतों पर करने के एक मामले में उच्चतम न्यायालय में भी सुनवाई चल रही है.
ट्राई ने जिन 69 लाइसेंसों को रद्द करने की सिफारिश की है उनमें 34 में सेवा शुरू करने के दायित्व को पूरा नहीं किया गया जबकि 28 अन्य में अपर्याप्त सेवा का मामला है. ट्राई की रपट के अनुसार दो सर्किलों में एतिसलात, आठ सर्किलों में यूनिनोर, दस सर्किलों में सिस्तेमा, 14 सर्किलों में लूप के लाइसेंस इसलिए रद्द कर दिए जाने चाहिए क्योंकि वे सेवा शुरू करने की समयसीमा पर खरा नहीं उतर सकीं.
लाइसेंस की शर्तों के हिसाब से लाइसेंसधारक कंपनी को महानगर में 90 प्रतिशत क्षेत्र सेवा क्षेत्र तथा अन्य सेवा क्षेत्र में दस प्रतिशत जिला मुख्यालयों पर सेवा लाइसेंस जारी होने के 12 महीने में शुरू करनी होती है. अपर्याप्त सेवा शुरूआत के लिए 13 सर्किलों में एतिसलात, 10 सर्किलों में वीडियोकान तथा पांच सर्किलों में लूप के लाइसेंस रद्द करने की सिफारिश की गई है.
उल्लेखनीय है कि दूरसंचार क्षेत्र, स्पेक्ट्रम आवंटन का मामला इन दिनों सत्ता के गलियारों से लेकर उच्चतम न्यायालय में चल रहा है. स्पेक्ट्रम आवंटन में पक्षपात बरते जाने के आरोपों के चलते पूर्व दूरसंचार मंत्री ए राजा को पद से इस्तीफा देना पड़ा. कैग ने 2जी लाइसेंस आवंटन में उनकी भूमिका पर अंगुली उठाई थी.