पाकिस्तानी राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने कहा है कि अफगानिस्तान से अमेरिकी सैनिकों की वापसी की स्थिति के लिए उनका देश खुद को तैयार कर रहा है. उन्होंने कहा कि अमेरिका के हालिया आरोपों से आतंकवाद के खिलाफ युद्ध को बड़ा झटका लगा है.
जरदारी ने समाचार पत्र ‘द वाशिंगटन पोस्ट’ में लिखे अपने एक लेख में अमेरिका के साथ ताजा रिश्ते को लेकर हुई सर्वदलीय बैठक में पारित प्रस्ताव का समर्थन किया. पाकिस्तानी राष्ट्रपति उस बैठक में शामिल नहीं हुए थे, हालांकि इसके बारे में जानकारी उन्हें प्रधानमंत्री यूसुफ रजा गिलानी ने दी. हाल ही में अमेरिका ने आरोप लगाया था कि पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई और आतंकी संगठन हक्कानी नेटवर्क के बीच सांठगांठ है. इस आरोप के बाद दोनों देशों के रिश्तों में तल्खी आ गई है.
जरदारी ने कहा, ‘अमेरिका ने अफगानिस्तान से अपने सैनिकों को हटाने की योजना बनाई है और ऐसे में हम इसके बाद की स्थितियों के लिए खुद को तैयार कर रहे हैं.’ उन्होंने सवाल किया, ‘ऐसे में हम हमारे लिए यह अनुचित क्यों है कि हम अपनी पश्चिमी सीमा की तत्काल एवं दीर्घकालीन स्थिति को लेकर चिंता करें?’
पाकिस्तानी राष्ट्रपति ने कहा, ‘हम जितना जल्दी आरोपों-प्रत्यारोपों पर विराम लगाते हैं और एक दूसरे के साथ करते है, उतना जल्दी हम अफगानिस्तान में स्थिरता कायम कर सकेंगे.’ उन्होंने कहा कि बीते एक दशक में आतंकवाद के खिलाफ युद्ध के दौरान पाकिस्तान ने बहुत त्याग किया है.