भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक विनोद राय (सीएजी) के सेवा से जुड़े कागजात मिल नहीं रहे हैं. कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग (डीओपीटी) ने सूचना के अधिकार के तहत यह जानकारी दी.
लखनऊ निवासी अरविंद शुक्ला ने पिछले महीने सूचना के अधिकार के तहत आवेदन देकर सीएजी के विषय में जानकारी मांगी थी. केरल कैडर के भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अधिकारी विनोद राय इन दिनों कोयला खण्डों के आवंटन पर जारी रिपोर्ट को लेकर चर्चा में हैं.
शुक्ला के अनुसार डीओपीटी ने बताया कि विनोद राय के सेवा से जुड़े दस्तावेज गुम हो गए हैं.
शुक्ला ने अपने आवदेन में वर्तमान सीएजी के कक्षा 10 की सनद, जन्म तिथि प्रमाण पत्र, आईएएस में चयन का प्रमाण पत्र, नियुक्ति पत्र, केरल कैडर में चयन से सम्बंधित प्रमाण पत्र एवं उनके अवकाश ग्रहण की तिथि जैसी जानकारी मांगी थी.
डीओपीटी के केंद्रीय जनसूचना अधिकारी नरेंद्र गौतम ने पत्र संख्या आरटीआई (नम्बर 13011/20/2012-एआईए.आई) के जरिए शुक्ला को बताया कि केरल कैडर के विनोद राय से सम्बधित कागजात उपलब्ध नहीं हैं.
डीओपीटी ने शुक्ला को इसके लिए केरल सरकार से सम्पर्क करने की सलाह दी क्योंकि यह मामला केरल सरकार से नजदीकी से जुड़ा हुआ है.
गौतम ने बताया कि विभाग इस तरह की कोई जानकारी नहीं रखता और सम्बंधित सूचना उपलब्ध कराने के लिए सीएजी कार्यालय से सम्पर्क साधा गया गया है.
इससे पहले शुक्ला ने सूचना के अधिकार के बदौलत ही इस बात का रहस्योद्घाटन किया था कि प्रदेश के पूर्व कैबिनेट सचिव शशांक शेखर सिंह के सेवा से जुड़े कागजात गायब हैं.
शुक्ला ने कहा, ‘मैंने जिज्ञासा के तहत सीएजी के विषय में जानना चाहता था क्योंकि उनके निष्कर्षों ने देश में तूफान खड़ा कर दिया है और संप्रग सरकार को बेनकाब कर दिया है.’
डीओपीटी के सूत्रों ने बताया कि राय के सेवा से जुड़े कागजात आखिरी बार 2005 में देखे गए थे. विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पहचान जाहिर न करने की शर्त पर बताया, ‘सभी परिस्थितियों में ऐसे कागजातों को रिकार्ड के तौर पर रखा जाता है. यदि यह मिल नहीं रहा है तो आश्चर्यजनक है.’