भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडी) के अध्यक्ष नंदन नीलेकणी के अनुसार टीवी अभियान, कानून में बदलाव या निरीक्षकों (लोकपाल) की तैनाती की तुलना में 'आधार' की मदद से भ्रष्टाचार से ज्यादा प्रभावी ढंग से लड़ा जा सकता है. उन्होंने अरविंद केजरीवाल का नाम लिए बिना उनकी मांगों को लगभग नकार दिया. उन्होंने कहा कि आधार आधारित सेवा आपूर्ति श्रृंखला से भ्रष्टाचार को अधिक प्रभावी तरीके से रोका जा सकता है.
नीलेकणी ने कहा, 'मैं भी किसी भी दूसरे व्यक्ति की तरह भ्रष्टाचार से लड़ रहा हूं और मेरा मानना है कि इसकी रोकथाम होनी चाहिए. लेकिन मैं नहीं मानता कि एक कानून पारित कर या अधिक निरीक्षक तैनात कर भ्रष्टाचार की समस्या का समाधान किया जा सकता है.'
टीवी प्रसारण वैन से नहीं मिटेगा भ्रष्टाचार
उन्होंने कहा, 'यह मानना कि आप कुछ टीवी प्रसारण वैन से भ्रष्टाचार मिटा सकते हैं, मेरे खयाल से इससे भ्रष्टाचार नहीं मिटने वाला. मेरे खयाल से हम जो चाहते हैं उसके लिए दीर्घकालीन सांस्थानिक बदलाव के बारे में सोचने वालों की कमी है.'
राजनीतिक नहीं आधार आधारित सेवा आपूर्ति
नीलेकणी ने इस आरोप को खारिज किया कि शनिवार को राजस्थान में प्रधानमंत्री द्वारा आधार आधारित सेवा आपूर्ति शुरू किया जाना चुनावी हथकंडा है. उन्होंने कहा कि आधार से बजटीय खर्च अधिक चुस्त हो जाएगा और भ्रष्टाचार पर लगाम लगेगी.
नीलेकणी ने कहा कि आधार के दायरे में 20 करोड़ लोग आ चुके हैं और 2014 तक इसके दायरे में 60 करोड़ आ जाएंगे.