ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी अक्सर मोदी सरकार पर तंज कसते नजर आते हैं. एक बार फिर ओवैसी ने पीएम मोदी के नए कार्यकाल की शुरुआत पर हमला बोला है. ओवैसी ने कहा कि मोदी अपनी ही सरकार के औसत रिकॉर्ड को सुधार नहीं सकते.
ओवैसी का निशाना 2014 के मोदी सरकार में कम हुई जीडीपी और बढ़ती बेरोजगारी पर है. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि मोदी अपने स्वयं के औसत रिकॉर्ड को भी बेहतर नहीं कर सकते. जहां बेरोजगारी रिकॉर्ड स्तर तक पहुंच गई हो और जीडीपी सबसे कम स्तर पर हो.
इसके बाद उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि मोदी है तो मुमकिन है. उन्होंने आगे कहा कि मोदी के मतदाताओं ने इसके लिए कभी शिकायत नहीं की. वह केवल तभी जागता है जब गौ हत्या में 5 फीसदी से कमी आ जाती है या जब युवा दलित अपनी शादी पर घोड़े की सवारी करता है.Modi can’t even better his own mediocre record. Record unemployment? Lowest GDP?
Modi hai to mumkin hai
Of course his core voter won’t complain. He’s awake only when Gau lynching falls below 5% or when young Dalits ride a horse in their wedding baaraat https://t.co/o87iOBuoOr
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) May 31, 2019
बता दें कि कृषि, उद्योग और विनिर्माण सेक्टर में कमजोर प्रदर्शन के चलते वित्त वर्ष 2018-19 की चौथी तिमाही में देश की आर्थिक वृद्धि दर धीमी पड़ी है और पांच साल के निचले स्तर 5.8 प्रतिशत पर पहुंच गई है. सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) दर में यह वृद्धि साल 2014-15 के बाद सबसे धीमी है. इससे पहले वित्त वर्ष 2013-14 में जीडीपी दर 6.4 फीसदी रही थी.
चौथी तिमाही में जीडीपी दर चीन की आर्थिक वृद्धि दर 6.4 प्रतिशत से भी कम रही. इस लिहाज से चौथी तिमाही में भारत आर्थिक वृद्धि के लिहाज से चीन से पीछे रह गया. राष्ट्रीय आय पर केंद्रीय सांख्यिकी कार्यालय के आंकड़ों के मुताबिक, पूरे वित्त वर्ष 2018-19 के दौरान जीडीपी की वृद्धि दर भी घटकर 5 साल के निचले स्तर 6.8 प्रतिशत रही. इससे पहले वित्त वर्ष में जीडीपी वृद्धि दर 7.2 प्रतिशत रही थी.
वहीं, सीएसओ के आंकड़ों के मुताबिक, बेरोजगारी की दर 45 साल के सर्वोच्च स्तर पर है. वित्त वर्ष 2017-18 के दौरान देश में बेरोजगारी की दर 6.1 फीसदी रही. आंकड़ों के मुताबिक, महिलाओं की अपेक्षा पुरुषों में बेरोजगारी की दर अधिक है.