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दीमक की तरह हैं बांग्लादेशी घुसपैठिए, चुन-चुनकर देश से बाहर निकालेंगे: अमित शाह

असम में रह रहे वास्तविक भारतीय नागरिकों की पहचान के लिए उच्चतम न्यायालय के आदेश पर अपडेट की जा रही एनआरसी की 30 जुलाई को प्रकाशित मसौदा सूची में 40 लाख से ज्यादा लोगों के नाम शामिल नहीं किए गए जिससे राजनीतिक विवाद पैदा हो गया था.

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बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह
बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह

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राजस्थान के सवाई माधोपुर में शनिवार को एक रैली को संबोधित करते हुए बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने बांग्लादेशी घुसपैठियों को दीमक करार दिया है. शाह ने कहा है कि यह दीमक हमारे चुनाव व्यवस्था को खाए जा रहा था, लेकिन हमने राष्ट्रीय नागरिक पंजी (NRC) के जरिए 40 लाख घुसपैठियों को पहचानने का काम किया है.

बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने दावा किया कि 2019 के आम चुनावों के बाद बीजेपी एक बार फिर सत्ता में आएगी और एक-एक घुसपैठियों को चुन-चुन कर मतदाता सूची से बाहर निकालेगी. उन्होंने कहा कि यूपीए को देश की सुरक्षा की कोई चिंता नहीं.

गौरतलब है कि अमित शाह से पहले बीजेपी महासचिव राम माधव भी कह चुके हैं कि 1985 में हुए ‘असम समझौते’ के तहत एनआरसी को अपडेट किया जा रहा है, जिसके तहत सरकार ने राज्य के सभी अवैध प्रवासियों का पता लगाने और उन्हें देश से बाहर निकालने की प्रतिबद्धता जाहिर की थी.

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राम माधव ने कहा था कि एनआरसी से सभी अवैध प्रवासियों की पहचान सुनिश्चित हो सकेगी. अगला कदम मिटाने का होगा, यानी अवैध प्रवासियों के नाम मतदाता सूची से हटा दिए जाएंगे और उन्हें सभी सरकारी लाभों से वंचित कर दिया जाएगा. इसके अगले चरण में अवैध प्रवासियों को देश से बाहर कर दिया जाएगा.

उल्लेखनीय है कि राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर की ड्राफ्ट सूची 30 जुलाई को प्रकाशित किया गया था, जिसमें 3.29 करोड़ लोगों में से 2.89 करोड़ लोगों के नाम शामिल किए गए थे. इस मसौदे में 40,70,707 लोगों के नाम नहीं थे.

इतनी बड़ी संख्या में लोगों के नाम इस सूची में शामिल नहीं होने से सियासी बवाल मच गया था. जिसके बाद सरकार की तरफ से स्पष्टीकरण दिया गया था कि यह मसौदा सूची है और अंतिम सूची आना अभी बाकी है. एनआरसी की अंतिम सूची 31 दिसंबर 2018 को जारी होनी है. तब तक अंतिम मसौदे में छूटे व्यक्ति अपनी आपत्तियां दर्ज कराया जा सकता है.

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