केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बुधवार दोपहर को लोकसभा में SPG संशोधन बिल पेश किया. अमित शाह ने कहा कि इस कानून में कुछ बदलाव के लिए हम ये बिल लेकर आए हैं, शुरुआत में SPG एक अधिशासी आदेश के तहत काम करती थी. बाद में एक कानून बना, जिसके बाद स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप काम करने लगा. शाह ने कहा कि अब सिर्फ मौजूदा प्रधानमंत्री को ये सुरक्षा मिलेगी, इसके अलावा पूर्व प्रधानमंत्री के परिवार को पांच साल तक ये सुविधा मिलेगी.
बता दें कि केंद्र सरकार की ओर से SPG नियमों में कुछ बदलाव किए गए हैं, जिसके कारण गांधी परिवार से SPG सुरक्षा वापस ले ली गई है. इस मसले पर कांग्रेस की ओर से जबरदस्त हंगामा किया गया था. सोनिया गांधी, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी को अभी तक SPG सुरक्षा मिलती थी लेकिन अब इनकी सुरक्षा CRPF के हाथ में चली गई है.
SPG कानून में क्या हुआ संशोधन?
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि 1991-94 में इसमें संशोधन हुआ, उसके बाद भी कई बार संशोधन हुआ. गृह मंत्री बोले कि संशोधन होने के बाद जो एक्ट बनेगा, उसके बाद प्रधानमंत्री और उनके परिवार के सदस्यों के लिए उपलब्ध होगा. जो प्रधानमंत्री आवास पर रहते हैं, उन्हें ये मिलेगा. वहीं पूर्व प्रधानमंत्री और उनके परिवार को पांच साल की अवधि के लिए SPG प्रोटेक्शन मिलेगा.
गृह मंत्री बोले कि संविधान के अनुसार हेड ऑफ गवर्नमेंट प्रधानमंत्री ही हैं, उनके कार्यालय को सुरक्षित करने के लिए SPG बनी है. हमारे देश में जो दो पूर्व प्रधानमंत्री की हत्या हुई है जो देश के लिए बड़ी क्षति है, जिसके बाद इस कानून को बनाया गया. अब हमारी सरकार इसमें संशोधन कर रही है, जिसके तहत पीएम को ये सुरक्षा मिलेगी. पूर्व प्रधानमंत्री और उनके परिवार को ये सुविधा पांच साल के लिए करेगी.
एसपीजी सुरक्षा कवच सिर्फ प्रधानमंत्री और उनके साथ रहने वाले परिवार से सदस्यों के लिए सीमित करने के लिए एसपीजी संशोधन विधेयक लाया गया है। पहले यह ग्रुप सिर्फ पीएम के लिए था, बाद में इस संशोधन कर बदलाव लाए गएः अमित शाह, गृह मंत्री #LokSabha #WinterSession #शीतकालीनसत्र pic.twitter.com/TRRpXGPmsy
— Lok Sabha TV (@loksabhatv) November 27, 2019
क्यों जरूरी है SPG?
लोकसभा में अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री कई कठोर फैसले लेते हैं, जो देश और अंतरराष्ट्रीय तौर पर महत्वपूर्ण रहते हैं. प्रधानमंत्री को सुरक्षित करने के लिए इसकी जरूरत है. अमित शाह बोले कि एसपीजी के नाम में ही इसका मूल अर्थ है, इसकी पूरी व्यवस्था पद के अनुसार बनाई गई है.
अमित शाह ने कहा कि इंदिरा गांधी की हत्या के बाद जो कमेटी बनी उसने इस तरह के ग्रुप की मांग की थी. इसमें सिर्फ किसी व्यक्ति की सुरक्षा की बात नहीं है, बल्कि उनके पद, कार्यालय समेत अन्य सभी बातों को भी ये ग्रुप सुरक्षा देता है.
गृह मंत्री बोले कि दुनिया के कई देशों में इस तरह के ग्रुप बने हुए हैं. हमारा उद्देश्य सिर्फ इतना ही है ये और महत्वपूर्ण बने. मेरा सदन से अनुरोध है कि एकमत से सभी बिल को पास करें.
मनीष तिवारी ने थ्रेट असेसमेंट पर उठाए सवाल
इस बिल पर चर्चा के दौरान लोकसभा में कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने कहा कि आज हम बहुत ही संवेदनशील बिल पर बात करने के लिए इकट्ठा हुए हैं जो पीएम की सुरक्षा से जुड़ा हुआ है. मेरा कहना है कि इतिहास इस बात का गवाह है कि जब-जब ऐसे नकारात्मक कदम उठाए गए हैं बहुत बड़ा खामियाजा इस देश को भुगतना पड़ा है.
मनीष तिवारी बोले कि सरकार किसी व्यक्ति को सुरक्षा क्यों प्रदान करती है. पुलिस व्यवस्था की गई आवाम की सुरक्षा के लिए. फिर सरकार इंगित करती है कि कुछ लोग ऐसे हैं जिनको सरकार की तरफ से सुरक्षा देने की जरूरत है. थ्रेट असेसटमेंट के हिसाब से विभिन्न श्रेणियों में सुरक्षा प्रदान की जाती है. ये जो थ्रेट असेसमेंट है क्या यह परफेक्ट साइंस है.