भारतीय सेना दुनिया के सबसे ऊंचे युद्धक्षेत्र सियाचिन से हर साल करीब 100 टन कचरा उठाने का लक्ष्य रखी है. यह सियाचिन को साफ करने की योजना का हिस्सा है. अनुमान के अनुसार, यहां हर साल 236 टन कचरा पैदा होता है. जनवरी 2018 से सियाचिन को साफ करने के अभियान के तहत यहां से 130 टन कचरा सेना ने साफ किया है.
दरअसल, सेना ने सियाचिन स्वच्छ अभियान को लागू करने के लिए एक नोट तैयार किया था, जिसका उद्देश्य 10 हजार फीट पर स्थित बेस कैंप से लेकर 21 हजार फीट की ऊंचाई पर बने सियाचिन के बाना पोस्ट पर से कचरा हटाना है. बता दें कि 1984 से सियाचिन में सेना की तैनाती की गई है, लेकिन कचरे से छुटकारा पाने की कोई योजना नहीं थी.
सूत्रों ने कहा कि मानव कचरे से निपटना सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक है और सेना रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन के साथ चर्चा कर रही है. यहां पर सेना और नागरिक प्रशासन भी एक दूसरे का सहयोग कर रहे हैं. कचरे को अलग करने के लिए संकेत भी लगाए गए हैं.
एक अधिकारी ने कहा कि अभियान में नागरिक भी भाग ले रहे हैं और कचरे को अलग बैरल में डाल रहे हैं. कड़ाके की ठंड की वजह से यहां कचरा सड़ता नहीं है. सेना की लगातार कोशिश है कि ग्लेशियर में कचरा कम हो.