कोर्ट से रिमांड मिलने के बाद आसाराम को सबसे पहले जोधपुर के संपूर्णानंद अस्पताल ले जाया गया, जहां उनके दो पोटेंसी टेस्ट हुए. खबर है कि दोनों में ही आसाराम बिल्कुल फिट पाए गए. खुद पर लगे आरोपों के बाद आसाराम ने ये दलील दी थी कि 72 साल की उम्र में उनपर ऐसे आरोप लगाना बिल्कुल झूठ है.
जोधपुर के डीसीपी अजय पाल लांबा ने कहा कि उन्हें जोधपुर से 30 किलोमीटर दूर मानइ आश्रम भी ले जाया गया जहां उनके खिलाफ आरोपों का सत्यापन करने के लिए घटना जैसी स्थितियां दोहराई गईं.
इसके बाद आसाराम को जिला एवं सत्र न्यायाधीश (ग्रामीण) मनोज के व्यास के सामने पेश किया गया जिन्होंने आसाराम को एक दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया. पुलिस ने आसाराम की दो दिन की हिरासत मांगी थी. आश्रम में रूकने का आग्रह खारिज होने के बाद आसाराम को आरएसी बटालियन परिसर में पुलिस हिरासत में रखा गया है.
इससे पहले जोधपुर पुलिस आयुक्त बीजू जार्ज जोसेफ ने संवाददाताओं से कहा कि आसाराम के खिलाफ मामले में कुछ मुद्दे हैं जिन पर अभी भी काम करने की जरूरत है.
जोसेफ ने कहा कि आसाराम की चिकित्सीय जांच हुई है और ऐसा नहीं लगा है कि वह अस्वस्थ हैं. आसाराम ने दावा किया था कि वह 30 अगस्त तक जोधपुर पुलिस के सामने हाजिर होने की समयसीमा को पूरा नहीं कर पाये क्योंकि उनकी स्वास्थ्य स्थिति बिगड़ गई थी.
पुलिस आयुक्त ने कहा कि आसाराम ने यौन शोषण के आरोपों से इंकार किया है. उन्होंने इन खबरों का खंडन किया कि आसाराम अनशन पर हैं और उन्होंने कुछ भी खाने या पीने से मना कर दिया है.
जोसेफ ने कहा कि वह भोजन और पानी ले रहे हैं. अतिरिक्त पुलिस आयुक्त सतीश के नेतृत्व वाला राजस्थान पुलिस दल आसाराम को लेकर आया. उन्होंने दिल्ली के जरिए करीब साढ़े बारह बजे उड़ान भरी.
पुलिस ने कहा कि उन्हें मंदौर में राजस्थान आम्र्स कंस्टेबुलरी बटालियन परिसर ले जाया गया जहां उनसे चार घंटे पूछताछ हुई.
हवाई अड्डे पर अभूतपूर्व सुरक्षा व्यवस्था की गई. आसाराम के समर्थकों ने दिल्ली और जोधपुर हवाई अड्डों पर नारेबाजी की.