माओवादी पोलित ब्यूरो सदस्य आजाद उर्फ चेरूकुरू राजकुमार की दो जुलाई को हुई हत्या को माओवादी और केंद्र के बीच मध्यस्थता कर रहे स्वामी अग्निवेश ने शांति प्रकिया के लिए गंभीर झटका बताया है.
संवाददाताओं के एक सम्मेलन में उन्होंने कहा कि जब आजाद को पत्रकार हेमंत पांडेय के साथ मारा गया उस वक्त उसे वार्ता की तारीखों पर बातचीत करनी थी. पिछले दो महीनों में पहल की गई शांति प्रक्रिया के लिए यह गंभीर झटका है.
आजाद की हत्या की न्यायिक जांच कराने की मांग करते हुए सामाजिक कार्यकर्ता ने कहा कि मैं इस बात को कह पाने की स्थिति में नहीं हूं कि उसे फर्जी मुठभेड़ में मारा गया या नहीं लेकिन इतना कह सकता हूं कि आजाद की मौत ने माओवादियों के बीच अविश्वास का माहौल पैदा किया है.