पश्चिम बंगाल में विपक्षी पार्टियों ने रविवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की कड़ी आलोचना की. विपक्ष ने कहा है कि नीति आयोग की पहली बैठक से दूर रहकर ममता ने राज्य के हितों को 'कमजोर किया' और 'जोखिम में डाला' है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में दिल्ली में आयोग की बैठक हुई. कांग्रेस, बीजेपी और सीपीआई-एम सभी ने ममता के कदम को 'संकीर्ण मानसिकता' कहकर आलोचना की है.
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी ने कहा, 'संघीय ढांचे में राज्य को केंद्र के पास जाना होता है और अपना बकाया लेने के लिए सहयोग करना होता है. यह उनका दोतरफा खेल है. एक तरफ वे केंद्र की उदासीनता का रोना रोती हैं तो दूसरे हाथ वह सहयोग करने से मुकर भी जाती हैं.' बीजेपी की प्रदेश इकाई के अध्यक्ष राहुल सिन्हा ने कहा कि ममता की हठधर्मिता की कीमत से पश्चिम बंगाल को नुकसान पहुंचेगा.
सीपीआई-एम नेता मोहम्मद सलीम ने कहा, 'हमारी मुख्यमंत्री योजना या योजना आधारित विकास में विश्वास नहीं करतीं. वह उत्सवों में हिस्सा लेना पसंद करती हैं और अभिनेताओं व फिल्मी सितरों से मुहब्बत करती हैं.' सलीम ने आगे कहा, 'इसलिए जब अन्य राज्य अपने लिए आवाज उठाते हैं तो वह नजरअंदाज करने को ही बेहतर मानती हैं.'
- इनपुट IANS से