पश्चिम बंगाल के रेलवे स्टेशनों के शौचालयों में पानी और स्वच्छता की कमी के कारण 70 फीसदी महिला यात्री उनका प्रयोग नहीं करती हैं. यह जानकारी बुधवार को जारी एक सर्वेक्षण में सामने आई. अब ट्रेन के शौचालयों में नहीं दिखेंगी गंदी बातें
राज्य के उत्तर में कृष्णागर से लेकर दक्षिण में लक्ष्मीकांतपुर तक के सभी 73 रेलवे स्टेशनों पर हुए इस आधारभूत सर्वेक्षण के परिणामों के मुताबिक 73 फीसदी महिला यात्रियों ने रेलवे स्टेशनों पर बने शौचालयों में आवश्यक वस्तुओं की कमी बताई. सेंटर फॉर एडवोकेसी एंड रिसर्च (सीएफएआर) की श्रृमणा मजूमदार ने रिपोर्ट जारी करते समय बताया, 'पानी, बाल्टी और मग की अनुपस्थिति उन्हें शौचालयों का प्रयोग करने से रोकते हैं और इससे उनकी गातिशीलता प्रभावित होती है.'
उन्होंने कहा, '97 फीसदी महिलाओं ने शौचालयों में साबुन और वॉश बेसिन न होने की शिकायत की.' इसी साल सितंबर में किए गए इस सर्वेक्षण में 1000 स्थानीय रेल यात्रियों ने भाग लिया और इसमें दो सप्ताह का समय लगा. इस सर्वेक्षण को सीएफएआर से मदद प्राप्त महिला मंच एलॉर दिशा ने पूरा किया. इस सर्वेक्षण में 80 फीसदी महिलाओं ने भाग लिया जबकि 20 फीसदी पुरुष इसमें शामिल थे.
सर्वेक्षण की रिपोर्ट के मुताबिक सर्वेक्षण में भाग लेने वाली आधे भी से अधिक महिलाओं ने कहा कि उन्हें स्टेशन के शौचालयों का इस्तेमाल न करना पड़े इसलिए वह कम पानी पीती हैं.