केंद्रीय कृषि मंत्री राधा मोहन सिंह ने रविवार को कहा कि पहली बार केंद्रीय बजट में ऐसा प्रावधान किया गया है, जिससे किसानों को फायदा होगा. उन्होंने कहा कि कालेधन के खुलासे पर साढ़े सात फीसदी पैसा किसान कल्याण अधिभार के रूप में देना होगा. अगर यह काम पहले किया जाता तो किसानों की यह स्थिति न होती.
ज्यादा दिन आजाद नहीं घूम सकते कालेधन वाले
उन्होंने कहा कि कालेधन रखने वालों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी, चाहे यह धन कैसे भी कमाया गया हो. भारतीय दलहन अनुसंधान संस्थान (आईआईपीआर) के कार्यक्रम में रविवार दोपहर हिस्सा लेने पहुंचे कृषि मंत्री से कार्यक्रम के बाद पत्रकारों ने पूछा कि बहुत से अमीर लोग किसान बनकर कालेधन को सफेद बनाने का काम कर रहे हैं. इसमें विजय माल्या के लीची के बागानों का भी जिक्र आया.
सिंह ने माल्या का सवाल तो टाल दिया, लेकिन कहा, 'अगर आप मोदी सरकार का बजट देखेंगे तो ये गांव और गरीब किसान का बजट है , जिससे विरोधियों की बोलती बंद हो गई है. कालेधन वाला पूंजीपति कुछ दिन तो आजाद घूम सकता है लेकिन जल्द ही वह कब्जे में आ जाएगा क्योंकि बजट में कालेधन के लिए इतने कड़े प्रावधान किए गए हैं. टैक्स चोरों पर हमारी सरकार कड़ी कार्रवाई करेगी चाहे उन्होंने जिस तरह से काला धन कमाया हो.'
विरोधियों की बोलती बंद
राधा मोहन ने कहा कि जहां तक कालेधन का सवाल है तो पहली बार बजट में प्रावधान में किया गया है कि कालेधन के खुलासे पर साढ़े सात प्रतिशत किसान कल्याण सरचार्ज देना होगा. अगर यह काम पहले किया जाता तो किसानों की यह स्थिति नहीं होती. जो पैसे वाले पूंजीपति लोग है वे किसी भी रूप में रहें सरकार उनके लिए बहुत कठोर है. उनके लिए देश में काला धन छिपाकर रखना संभव नहीं है.
कृषि मंत्री ने कहा कि कालेधन वाले लोग डर रहे हैं क्योंकि देश का पहला प्रधानमंत्री ऐसा है, जिसने गरीबी झेली है और उसके राज में कालाधन रखने वाला आदमी सीना तान कर नहीं चल सकता.