सोमवार को संसद में बजट सत्र के दूसरे चरण की शुरुआत हुई तो हंगामा भी हुआ . केंद्र सरकार की ओर से राजीव प्रताप रुडी ने एक बार फिर संशोधित भूमि अधिग्रहण बिल को पेश किया. किसानों के मुद्दे पर मंगलवार को भी संसद में हंगामे के आसार हैं, वहीं पलटवार की रणनीति बनाने के लिए बीजेपी संसदीय दल की बैठक की है.
सदन में सोमवार को भारी हंगामे और नारेबाजी के बीच सरकार ने भूमि बिल पेश किया. कांग्रेस का आरोप है कि सरकार बिल को बैक डोर से पास करवाना चाहती है. पार्टी ने सरकार से अध्यादेश वापस लेने की मांग की है. मंगलवार को कांग्रेस केंद्र से मुआवजे की मांग करेगी, जबकि राहुल को घेरने के लिए बीजेपी ने संसदीय दल की बैठक बुलाई.
दूसरी ओर, जनता दल परिवार के मुखिया मुलायम सिंह यादव ने भी प्रधानमंत्री पर हमला बोला है. मुलायम ने कहा, 'मोदी किसानों का नाश कर देंगे.' जाहिर पर इसके सीधे संकेत हैं कि जनता परिवार भी सदन में सरकार को घेरने की तैयारी में है.
राहुल गांधी का हमला
गौरतलब है कि कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने सोमवार को लोकसभा में मोदी सरकार पर जमकर हमला किया. अज्ञातवास से लौटे राहुल ने कहा, 'मोदी सरकार सूट-बूट वाली सरकार है. सरकार उद्योगपतियों के लिए किसानों को भूल गई है. देश की 60 फीसदी जनता खेती पर निर्भर है, लेकिन मैं सरकार से पूछना चाहता हूं कि इतनी बड़ी आबादी पर गुस्सा क्यों?' राहुल गांधी ने अपने भाषण में आगे कहा कि अच्छे दिन की सरकार फेल हो गई है और किसानों को भगवान भरोसे छोड़ दिया गया है.
वेंकैया ने दिया जवाब
राहुल गांधी के आरोपों का संसदीय कार्यमंत्री वेंकैया नायडू ने जवाब दिया. वेंकैया ने कहा, 'सरकार किसानों के लिए काम कर रही है. जिन किसानों के 33 फीसदी फसल बर्बाद हुए उन्हें भी मुवाअजा दिए जाने की घोषणा की गई है.'
इन सब के बीच राहुल गांधी ने लोकसभा में अपने भाषण पर खुद ही अपनी पीठ थपथपाई है. कांग्रेस उपाध्यक्ष ने आजतक से कहा कि भाषण तो अच्छा था, लेकिन जवाब नहीं मिला.