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जाली नोट मामले पर जागी केन्‍द्र सरकार

देश के अलग-अलग हिस्सों में नक़ली नोटों का मिलना केंद्र सरकार के लिए बड़ा सिरदर्द बनता जा रहा है. मसले की गंभीरता को देखते हुए गृह मंत्रालय ने इस पर आज बैठक की.

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देश के अलग-अलग हिस्सों में नक़ली नोटों का मिलना केंद्र सरकार के लिए बड़ा सिरदर्द बनता जा रहा है. मसले की गंभीरता को देखते हुए गृह मंत्रालय ने इस पर आज बैठक की. बैठक में आईबी और बीएसएफ के अधिकारी भी मौजूद थे. बैठक में इस बात पर सहमति बनी कि नोटों की छपाई में प्रयोग होने वाली स्‍याही को स्विस कंपनी से मंगाया जाए.

कैसे रोकी जाए नकली नोटों की आमद?
बैठक में इस बात पर चर्चा की गई कि नकली नोटों की आमद कैसे रोकी जाए. हाल के दिनों में मुंबई से लेकर चंडीगढ़ तक कई जगह लाखों के नक़ली नोट मिले हैं. नकली भी ऐसे कि असली से फ़र्क करना मुश्किल. इस वजह से आम आदमी के धोखा खाने के पूरे चांस रहते हैं. हालात की गंभीरता को देखते हुए केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस मसले से निपटने की पहल की है.

यूपी बना नकली नोटों को बड़ा अड्डा
वैसे नकली नोटों से देश का कोई भी शहर अछूता नहीं है. लेकिन हाल के दिनों में उत्तर प्रदेश नकली नोटों के बड़े अड्डे के रूप में उभरा है. ज़्यादातर जाली करेंसी नेपाल के रास्ते भारत की सीमा में पहुंचाई जाती है. इससे पलहे डुमरियागंज में पिछले साल स्टेट बैंक के चेस्ट से क़रीब 4 करोड़ के नकली नोट मिले थे. कुछ दिन पहले यूपी एसटीएफ ने बस्ती जिले में तीन लाख रुपये के जाली नोट पकड़े. पश्चिमी उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में भी नकली नोट बरामद हो चुके हैं.

सीमा पर चौकसी पर विशेष जोर
बैठक में इस बात पर जोर दिया गया कि पड़ोसी देश की से लगी सीमा पर खास तौर से निगरानी बढ़ाई जाए.  इस बैठक में आईबी और बीएसएफ के अफसर भी मौजूद थें. सरकार ने इस बात को माना कि देश भर में नकली नोटों का धंधा फैल गया है.

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