भारतीय क्षेत्र में चीन ने कोई घुसपैठ नहीं की है. रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर ने लोकसभा में शुक्रवार को यह जानकारी दी. अपने लिखित जवाब में रक्षा मंत्री ने कहा कि वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) की धारणा में अंतर के कारण अक्सर अतिक्रमण होता रहता है.
वास्तविक रेखा निर्धारित नहीं होने से अतिक्रमण
पर्रिकर ने कहा कि भारत और चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा सामान्य तौर पर निर्धारित नहीं है. लद्दाख समेत सीमा के कई इलाके हैं जहां भारत और चीन के बीच एलएसी को लेकर मतभेद हैं. ऐसे में दोनों ही पक्ष अपनी धारणा के मुताबिक एलएसी तक गश्त करते हैं और अतिक्रमण होता रहता है.
31 मार्च तक देश में 24 घुसपैठ की कोशिश
उन्होंने कहा कि सरकार चीनी पक्ष के साथ एलएसी के अतिक्रमण का मुद्दा स्थापित तंत्र के माध्यम से अक्सर उठाती है. पर्रिकर ने कहा कि इस साल 31 मार्च तक आतंकियों की ओर से देश में घुसपैठ की 24 कोशिश हुईं. इनमें से 18 में वे कामयाब रहे. उन्होंने कहा कि भारत-पाकिस्तान सीमा पर घुसपैठ के मामले को पाकिस्तानी सेना के समक्ष उठाया जाता रहा है. पाकिस्तानी कब्जे वाले कश्मीर में चीन की निर्माण गतिविधियों के बारे में कहा कि सरकार ने इस संबंध में चीन को अपनी चिंता से अवगत करा दिया है और उससे इन निर्माणों को रोकने के लिए कहा है.