चीन के सैनिक लद्दाख के चुमार स्थित भारतीय क्षेत्र में काफी अंदर तक घुस आये और पांच भारतीय नागरिकों को पकड़कर अपनी सीमा में ले गए. यह संभवत: वास्तविक नियंत्रण रेखा पर घटी पहली ऐसी घटना है. हालांकि बाद में सघन प्रयासों के बाद भारतीय नागरिकों को भारत को सौंप दिया गया.
बताया जा रहा है कि दोनों देशों के बीच मौजूदा सीमा व्यवस्था के तहत इस संबंध में किये गए प्रयासों के बाद पीपुल्स लिबरेशन आर्मी के सैनिकों ने पांचों भारतीय नागरिकों को बाद में भारत को सौंपा.
अपने शिविरों में ले गए भारतीय नागरिकों को
पीपुल्स लिबरेशन आर्मी के सैनिकों ने चुमार इलाके में भारतीय सीमा में कुछ किलोमीटर भीतर आकर पांच भारतीय नागरिकों को उनके मवेशियों के साथ पकड़ लिया और उन्हें वास्तविक नियंत्रण रेखा के अपनी ओर बने शिविर में ले गए. चीनी सैनिकों ने ऐसा संभवत: इलाके पर अपना दावा करने के लिए किया. सैन्य मुख्यालय ने इस घटना को यह कहते हुए कमतर करने का प्रयास किया कि मामले को ‘सौहार्दपूर्ण’ तरीके से सुलझा लिया गया है लेकिन सूत्रों ने कहा कि चीनी पक्ष तभी माना जब स्थानीय भारतीय सैन्य अधिकारियों ने इस मामले पर फ्लैग मीटिंग बुलाने के लिए कहा और चेतावनी दी कि मुद्दे को उच्च स्तर पर उठाया जाएगा.
ऐसी जानकारी मिली है कि दोनों देशों के स्थानीय सैन्य अधिकारियों ने इस मुद्दे पर सम्पर्क स्थापित किया.
सीमा रक्षा सहयोग समझौते के बाद हुई है घटना
यह घटना दोनों देशों की सेनाओं के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा पर टकराव की घटना रोकने के लिए प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह द्वारा बीते अक्तूबर में चीन के साथ सीमा रक्षा सहयोग समझौते पर हस्ताक्षर करने के बाद हुई है. रक्षा मंत्री ए के एंटनी ने हाल में चेतावनी दी थी कि चीन के साथ नया सीमा समझौता इस बात की गारंटी नहीं देता कि इन क्षेत्रों में भविष्य में कुछ नहीं होगा.
चीनी सैनिकों द्वारा वास्तविक नियंत्रण रेखा पर अतिक्रमणों के मामले में चुमार सबसे सक्रिय क्षेत्रों में से एक है. चुमार लेह से 300 किलोमीटर दूर स्थित है. चीन-भारत सीमा पर चीनी सैनिकों के लिए यह हमेशा से ही परेशानी वाला स्थान रहा है क्योंकि चुमार ऐसा स्थान है जहां उनकी वास्तविक नियंत्रण रेखा पर सीधी पहुंच नहीं है.
अपनी नापाक हरकतों से बाज नहीं आ रहा है चीन
चीन के सैनिक हाल में चुमार में गतिविधियों पर नजर रखने के लिए भारत द्वारा लगाये गए कैमरे उखाड़कर ले गए थे. गत जुलाई में क्षेत्र पर अपना दावा करने के लिए चीन के सैनिक घोड़ों और खच्चरों पर सवार होकर भारतीय क्षेत्र में घुस आये थे.
गत एक वर्ष के दौरान चीनी सैनिकों द्वारा भारतीय क्षेत्र में अतिक्रमण की 200 से अधिक घटनाएं हो चुकी हैं लेकिन सेना हमेशा ही उन्हें यह कहते हुए कमतर करने का प्रयास करती है कि ये वास्तविक नियंत्रण रेखा की अलग-अलग समझ का परिणाम हैं.
गत अप्रैल में चीनी सैनिकों ने लद्दाख के दौलत बेग ओल्डी सेक्टर के देपसांग घाटी में अपने टेंट खड़े कर लिये थे और वे दोनों देशों के बीच श्रृंखलाबद्ध फ्लैग मीटिंग और बातचीत के बाद ही वापस गए.