भोपाल गैस कांड को लेकर कांग्रेस में घमासान मच गया है. इस मामले में फ़ैसला आने के बाद परतें खुल रही हैं, और सवाल खड़े हो रहे हैं.
सबसे बड़ा सवाल है कि एंडरसन को बाइज्ज़त फ़रार होने में किसने अहम भूमिका अदा की. सवाल इसलिए अहम है कि 1984 में केंद्र और राज्य दोनों जगह कांग्रेस की सरकार थी. मुख्यमंत्री थे अर्जुन सिंह, जो फ़िलहाल ख़ामोशी ओढ़ कर बैठे हुए हैं लेकिन उनके बचाव में दिग्गी राजा उतर आए हैं. कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव कह रहे हैं कि राज्य सरकार का कोई दोष नहीं तो उधर, कांग्रेस के ही नेता सत्यव्रत चतुर्वेदी, दिग्विजय की बात की काट पेश कर रहे हैं और राज्य सरकार को ही कटघरे में खड़ा कर रहे हैं.
अब बड़ा सवाल ये है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री अर्जुन सिंह चुप क्यों हैं जबकि कांग्रेस के भीतर इस मुद्दे पर बवाल मच गया है. बड़ा सवाल यही है कि आखिर कैसे मुख्य आरोपी एंडरसन भाग निकला. अब तक कई चेहरे सामने आ चुके हैं जो ख़ुलकर कह रहे हैं कि उन्हें ऊपर से निर्देश मिले थे. भोपाल के तत्कालीन डीएम मोती सिंह, एसपी स्वराज पुरी के बाद अब पायलट ने भी वही बात दोहराई है.
जिस विमान से एंडरसन भागा था, उसके पायलट रहे रिटायर्ड कैप्टन सोंधी ने खुलासा किया है कि राजकीय विमान को तैयार रखने का आदेश उन्हें सीएम हाउस से मिला था.