केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने नरेंद्र मोदी पर यह कहते हुए चुटकी ली है कि अभी तक बीजेपी के पीएम उम्मीदवार ने ये दिखाया है कि उन्हें इतिहास और भूगोल की जानकारी नहीं पर वे इस सूची में अर्थशास्त्र को भी शामिल कर रहे हैं.
दरअसल, जयराम रमेश कर प्रणाली सुधारने के नरेंद्र मोदी के बयानों पर प्रतिक्रिया दे रहे थे. उन्होंने कहा कि दुनिया के सभी देशों में आयकर होता है और बीजेपी नेता अर्थशास्त्र को उन विषयों की सूची में शामिल कर रहे हैं जिनके बारे में वह कुछ नहीं जानते.
गौरतलब है कि रविवार को रामदेव ने मांग की थी कि अगर मोदी केंद्र की सत्ता में आते हैं तो देश में सभी प्रकार के करों को समाप्त कर देना चाहिए और एक बैंकिंग लेनदेन कर लागू होना चाहिए.
रमेश ने कर व्यवस्था को लेकर मोदी के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, 'अभी तक मोदी को इतिहास और भूगोल की कम जानकारी होने पता लगा है और अगर वह स्वामी रामदेव को सुनेंगे तो मैं क्या कह सकता हूं? मोदी अब अर्थशास्त्र को भी उन विषयों की फेहरिस्त में शामिल कर रहे हैं जिनके बारे में वह कुछ नहीं जानते. पहले भूगोल और इतिहास थे और अब अर्थशास्त्र भी इसमें आ गया है.'
आपको बता दें कि देश में कर प्रणाली में सुधार का वायदा करते हुए मोदी ने कहा था कि मौजूदा व्यवस्था आम आदमी के लिए बोझ बन गयी है.
रमेश ने कहा कि 1957 में तत्कालीन वित्त मंत्री टी टी कृष्णामाचारी द्वारा पेश बजट में एक व्यय कर था और इस विचार को भी बहुत जल्दी ही छोड़ दिया गया था.
उन्होंने कहा, 'इसके बाद 1980 के दशक में इस बारे में विचार हुआ, क्योंकि वसंत साठे (पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस नेता) इसके बड़े पक्षधर थे. एल के झा समिति बनाई गयी और उसने इस विचार को खारिज कर दिया.'
उन्होंने मोदी की टिप्पणी की आलोचना करते हुए कहा कि दुनिया के सभी देशों में आयकर होता है. मंत्री ने यह आरोप भी लगाया कि मोदी का मकसद देश में अमीर और गिने-चुने लोगों की मदद करना है.
बीजेपी के पूर्व अध्यक्ष नितिन गडकरी ने भी पिछले महीने कहा था कि वह अपनी पार्टी के विजन दस्तावेज में आयकर, बिक्री कर और उत्पाद शुल्क को समाप्त करने का प्रस्ताव शामिल करने पर विचार कर रहे हैं.