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Exclusive: शरद पवार को सोनिया का एक कॉल...और महाराष्ट्र में अटक गई सरकार

शरद पवार की ओर से सोनिया को दी गई जानकारी ने कांग्रेस आलाकमान को सकते में डाल दिया. कहां कांग्रेस शिवसेना को समर्थन देने को तैयार थी और कहां अबतक शरद पवार और उद्धव ठाकरे के बीच बातचीत ही नहीं हुई थी. सूत्र बताते हैं कि सोनिया गांधी को ये समझते देर न लगी कि उद्धव ठाकरे और शरद पवार के बीच चीजें अभी भी स्पष्ट नहीं हुई है.

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कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी (फोटो-ANI)
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी (फोटो-ANI)

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  • शरद पवार के फोन के बाद सोनिया ने बदला मन
  • 10 जनपथ में शिवसेना को समर्थन पर लंबी चर्चा
  • शिवसेना को समर्थन पर सोनिया फूंककर रख रही हैं कदम

महाराष्ट्र में शिवसेना को समर्थन देने के लिए 10 जनपथ में लंबी मीटिंग चल रही थी. इस दौरान मीडिया में खबर आती है कि कांग्रेस शिवसेना-एनसीपी की संभावित सरकार को  समर्थन देने के लिए तैयार है, खबरें यहां तक आईं कि कांग्रेस इस सरकार को बाहर से समर्थन देगी और बदले में विधानसभा में स्पीकर का पद मांग सकती है. लेकिन 10 जनपथ के बोर्ड रूम में कुछ और ही चल रहा था.

सूत्र बताते हैं कि कांग्रेस के सीनियर नेताओं की मीटिंग के दौरान एक कॉल में सब कुछ बदल गया. दरअसल सोनिया गांधी ने एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार से बात करने के लिए कॉल किया. कॉल से पहले सोनिया मीटिंग में मौजूद महाराष्ट्र के हर नेता से राय ले रहीं थीं और गठबंधन पर विचार पूछ रही थी. इससे पहले सोनिया जयपुर में मौजूद कांग्रेस विधायकों से भी बात कर चुकी थीं. सभी विधायक शिवसेना के साथ सरकार बनाने के लिए तैयार दिख रहे थे.

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आखिर पवार ने क्या कहा?

इन नेताओं के विचार जानने के बाद सोनिया ने शरद पवार को कॉल किया. सोनिया की ओर से जब शरद पवार को फोन लगाया गया तो कोर टीम के सदस्य अहमद पटेल, केसी वेणुगोपाल, एक एंटनी और मल्लिकार्जुन खड़गे मौजूद थे. इन सबकी मौजूदगी में सोनिया ने शरद पवार से बात की.

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सूत्र बताते हैं कि शरद पवार ने सोनिया को कहा कि शिवसेना के साथ सरकार गठन पर कुछ तय नहीं है, और उन्हें शिवसेना सुप्रीमो से कोई फोन भी नहीं आया है. शरद पवार ने सोनिया गांधी को बताया कि वे खुद उद्धव ठाकरे से बात करेंगे और सरकार गठन के बारे में विस्तार से बात कर उनसे उनसे फिर से बात करेंगे. शरद ने सोनिया को कहा कि सरकार गठन पर कोई बात ही नहीं हुई है.

मंझधार में सरकार, महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लागू होने के आसार

शरद पवार की ओर से सोनिया को दी गई जानकारी ने कांग्रेस आलाकमान को सकते में डाल दिया. कहां कांग्रेस शिवसेना को समर्थन देने को तैयार थी और कहां अबतक शरद पवार और उद्धव ठाकरे के बीच बातचीत ही नहीं हुई थी. सूत्र बताते हैं कि सोनिया गांधी को ये समझते देर न लगी कि उद्धव ठाकरे और शरद पवार के बीच चीजें अभी भी स्पष्ट नहीं हुई है.

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इसके बाद संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल ने बयान देने के लिए जो लेटर ड्राफ्ट किया उसका मजमून पूरा बदल चुका था. कांग्रेस ने बयान में कहा कि महाराष्ट्र सरकार गठन पर चर्चा तो जरूर हुई, लेकिन अभी कुछ तय नहीं हुआ है और आगे भी सोनिया गांधी शरद पवार से बात करेंगी. अब खबर ये है कि कांग्रेस और एनसीपी के बीच मंगलवार को फिर से बात होगी.

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