चीन से शुरू हुए कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीज भारत में भी सामने आ रहे हैं. केरल में एक मामले की पुष्टि होने के बाद ओडिशा के फूलबनी में भी कोरोना का एक संदिग्ध मरीज सामने आया है. जिला चिकित्सा अधिकारी को पत्र लिखकर खुद के कोरोना का संदिग्ध मरीज होने की जानकारी देने वाले छात्र को लक्षण के आधार पर कटक के एससीबी मेडिकल कॉलेज रेफर कर दिया है, जहां उसे चिकित्सकीय निगरानी में रखा गया है.
बताया जाता है कि फूलबनी का निवासी मृत्युंजय मुनू चीन के वुहान में चिकित्सा विज्ञान का छात्र है. मृत्युंजय 11 जनवरी को ही छुट्टियों में चीन से घर लौटा था. उसने जिले के मुख्य चिकित्सा अधिकारी नृसिंह चंद्र बेहरा को पत्र लिखकर लक्षणों के आधार पर खुद के कोरोना वायरस से पीड़ित होने का संदेह जताया. पत्र का संज्ञान लेकर मुख्य चिकिस्ता अधिकारी बेहरा ने एंबुलेंस की व्यवस्था कर कटक भिजवाया.
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इस संबंध में एससीबी मेडिकल कॉलेज के इमरजेंसी ऑफिसर भुवनंद मोहराना ने बताया कि एक रोगी को फूलबनी अस्पताल से रेफर किया गया था, जो चीन के वुहान शहर से लौटा था. उन्होंने कहा कि रेफर युवक पिछले कुछ दिनों से सर्दी और खांसी से पीड़ित था. हम उसे निगरानी में रखेंगे. मोहराना ने कहा कि युवक को गले में खरास और नाक में सूजन है. उसके नमूने परीक्षण के लिए आरएएसआरसी या एनआईबी पुणे को भेजे जाएंगे. उन्होंने कहा कि परीक्षण की रिपोर्ट के बाद ही यह साफ हो सकेगा कि वह कोरोना से पीड़ित है या नहीं.
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वहीं संदिग्ध मरीज मृत्युंजय ने कहा कि मुझे स्वास्थ्य मंत्रालय के निर्देश के बारे में पता चला कि जो लोग 1 जनवरी के बाद चीन से लौटे हैं, उन्हें एक जांच और परीक्षण कराना चाहिए. उसने बताया कि वह पिछले कुछ दिनों से कोल्ड और कफ से पीड़ित है. मृत्युंजय ने खुद ही अपने मेडिकल परीक्षण के लिए सीडीएमओ फूलबनी को पत्र लिखा. गौरतलब है कि अभी दो दिन पहले ही केरल के एक छात्र के कोरोना वायरस से पीड़ित होने की पुष्टि हुई थी.
चीन में कहर बरपा रहा कोरोना
कोरोना वायरस चीन में कहर बरपा रहा है. चीन में कोरोना वायरस के कारण 250 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 12 हजार से अधिक लोग इससे पीड़ित हैं. कोरोना वायरस के केस कई देशों में सामने आने के बाद विश्व स्वास्थ्य संगठन ने हेल्थ इमरजेंसी घोषित कर दिया है. कई देशों ने अपने नागरिकों को चीन न जाने की सलाह दी है.