बेंगलुरु के केआईएमएस अस्पताल में ऑक्सीजन की सप्लाई कम होने की वजह से कोरोना के 8 मरीजों को दूसरे अस्पताल में शिफ्ट करना पड़ा. कोरोना में गंभीर मरीजों को ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखना होता है, ऐसे में ऑक्सीजन की कमी घातक साबित हो सकती थी. इसे देखते हुए मरीजों को बेहतर इलाज के लिए दूसरे अस्पताल में भेज दिया गया.
इस मामले के बारे में बेंगलुरु स्थित केंपे गौड़ा इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर (केआईएमएस) ने बताया कि लिक्विड ऑक्सीजन की कमी को देखते हुए ऑक्सीजन सपोर्ट वाले मरीजों को अलग-अलग सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों में शिफ्ट कर दिया गया.
कोरोना पर फुल कवरेज के लिए यहां क्लिक करें
कुछ मरीजों को बॉरिंग और लेडी कर्जन अस्पताल में भेजा गया है. कुछ कोरोना मरीज राजीव गांधी अस्पताल में शिफ्ट किए गए. कर्नाटक के चिकित्सा शिक्षा अधिकारी डॉ. के सुधाकर ने कहा कि घटना की जानकारी मिलने के बाद केआईएमएस हॉस्पिटल में ऑक्सीजन के 20 सिलेंडर भेजे गए हैं.
कोरोना कमांडोज़ का हौसला बढ़ाएं और उन्हें शुक्रिया कहें...
आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक, जिन कोरोना पॉजिटिव मरीजों को शिफ्ट किया गया है, उनकी संख्या और भी ज्यादा हो सकती है. केआईएमएस अस्पताल ने एक बयान में कहा है कि गैस बनाने वाली कंपनी की ओर से लिक्विड ऑक्सीजन की कमी आई है. इस बारे में प्रशासन को जानकारी दी गई थी और गैस सप्लाई कराने की मांग की गई थी.
ऑक्सीजन सपोर्ट पर रहने वाले कोरोना मरीजों को 'लो ऑक्सीजन वॉल्यूम हाईपोक्सिक' का खतरा होने का डर होता है. इसे देखते हुए उन्हें दूसरे अस्पतालों में शिफ्ट कर दिया गया है.