एक ताजा अध्ययन से पता चला है कि सर्दियों के मौसम में राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में सर्वाधिक वायु प्रदूषण रहता है. आईआईटी दिल्ली, केंद्रीय सड़क अनुसंधान संस्थान, रेगिस्तान अनुसंधान संस्थान (अमेरिका) और बर्मिघम विश्वविद्यालय (इंग्लैंड) द्वारा संयुक्त रूप से किए गए अनुसंधान में यह खुलासा हुआ है.
अध्ययन के मुताबिक, सर्दियां शुरू होते ही राजधानी के लोगों को गर्मियों की तुलना में वायु प्रदूषण सहना पड़ता है. यह अध्ययन राजधानी में वायु प्रदूषण कम करने के लिए नीतियों में सुधार लाने में मददगार साबित हो सकता है.
अनुसंधानकर्ताओं के अनुसार, पिछले साल जून में और उसके बाद दिसंबर, 2013 से जनवरी, 2014 के बीच राजधानी के सर्वाधिक प्रदूषित इलाके मथुरा को जाने राष्ट्रीय राजमार्ग के इर्द-गिर्द से वायु के नमूने लिए गए.
अध्ययन के अनुसार, 'राजधानी में सर्दियों के मौसम औसतन प्रत्येक 12 घंटों में वायु में अति सूक्ष्म कणों (पीएम 2.5) का घनत्व राष्ट्रीय स्तर पर 24 घंटों के लिए तय मानक से भी अधिक पाया गया.'
अध्ययन में आगे कहा गया है, 'दिल्ली में सर्दी के मौसम में वायु में पाए जाने वाले हानिकारक तत्वों में सीसा, जस्ता और पालीसिलिक एरोमैटिक हाइड्रोकार्बन भारी घनत्व में पाए गए.'
अध्ययन में बताया गया है कि इस तरह के वायु प्रदूषण से श्वास संबंधी बीमारियों जैसे अस्थमा और ब्रोंकाइटिस का खतरा रहता है. इसके अलावा त्वचा में जलन दिल की बीमारी को बढ़ा सकता है.
बर्मिंघम विश्वविद्यालय की शोधकर्ता पल्लवी पंत ने कहा, 'यह बहुत ही उत्साजनक अनुसंधान रहा और हमें विश्वास है कि इससे मिले निष्कर्ष भविष्य में वायु प्रदूषण पर नियंत्रण की तैयारी में मददगार साबित होंगे.'
(IANS से इनपुट)