पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह ने भारतीय राजनीति में बढ़ते तनाव पर चिंता जाहिर की है. उन्होंने कहा है कि हमारी राजनीति के सामने जिस तरह की चुनौतियां हैं, अगर उनका समाधान नहीं किया गया तो परिणाम विनाशकारी होंगे.
कम बोलने की वजह से चर्चा में रहे प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह ने पूर्व कानून मंत्री और कांग्रेस नेता डॉक्टर अश्वनी कुमार की किताब 'होप इन द चैलेंज्ड डेमोक्रेसी' (Hope in a challenged democracy) के विमोचन के दौरान ये बातें कहीं.
डॉ सिंह ने कहा कि बतौर देश हमें जिन चुनौतियों को लेकर सतर्क रहना चाहिए उसका जिक्र इस किताब में है. चुनौतियां चाहें जितनी भी हों. जैसी भी हों. हमें उम्मीद नहीं छोड़नी चाहिए.
इस कार्यक्रम में उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी भी मौजूद थे. अपने संबोधन में हामिद अंसारी ने संविधान निर्माता बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर को याद करते हुए कहा कि कि लोकतंत्र के लिए सबसे बड़ा खतरा भेदभाव है.
इस मौके पर डॉक्टर अश्विनी कुमार ने कहा हमें फ्रीडम ऑफ स्पीच और निजता के अधिकार के बीच में बैलेंस बनाकर चलना होगा और यह आज की सबसे बड़ी चुनौती है. उन्होंने कहा कि ऐसा पोलिटिकल कल्चर जिस में विपक्ष को दुश्मन समझा जाए, लोकतंत्र के लिए नुकसानदायक है. मौजूदा राजनीतिक परिप्रेक्ष्य में हमें सोचना होगा कि किस तरह से ऊंचे सिद्धांतों और सम्मानजनक बातों के साथ राजनीति की जाए.