scorecardresearch
 

बजट वाले लाल कपड़े के बस्ते पर से निर्मला सीतारमण ने उठाया राज

सीतारमण ने अपना पहला बजट पेश करने के बाद संवाददाताओं के सवालों के जवाब में कहा, 'सूटकेस, ब्रीफकेस मुझे पसंद नहीं आता. यह अंग्रेजों के जमाने से चला आ रहा है. हमें यह पसंद नहीं. फिर मेरी मामी ने मुझे लाल कपड़े का बस्ता बनाकर दिया.

Advertisement
X
निर्मला सीतारमण
निर्मला सीतारमण

Advertisement

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपना पहला बजट पेश करते हुए बजट दस्तावेज सूटकेस या ब्रीफकेस में लाने के बजाय लाल कपड़े से बने बस्ते में लाकर सभी का ध्यान खींचा था. शनिवार को वित्त मंत्री ने खुलासा किया कि उनकी मामी ने उन्हें यह बस्ता बनाकर दिया था.

समाचार एजेंसी भाषा के मुताबिक सीतारमण ने अपना पहला बजट पेश करने के बाद संवाददाताओं के सवालों के जवाब में कहा, 'सूटकेस, ब्रीफकेस मुझे पसंद नहीं आता. यह अंग्रेजों के जमाने से चला आ रहा है. हमें यह पसंद नहीं. फिर मेरी मामी ने मुझे लाल कपड़े का बस्ता बनाकर दिया. उन्होंने पूजा-अर्चना करने के बाद मुझे यह लाल बस्ता दिया. यह घर का थैला नहीं लगे इसलिए सरकारी पहचान देने के लिए उस पर अशोक स्तंभ का चिन्ह लगाया गया.'

उन्होंने कहा कि भारत में हर क्षेत्र में अपनी परंपराएं हैं. दिवाली पर लक्ष्मी पूजन हो या घर, दुकान के नए बहीखातों की शुरुआत का मौका, उसका लाल कवर होता है, लाल कपड़े में लपेटा जाता है और उस पर कुमकुम, हल्दी, चंदन लगाकर अथवा शुभ लाभ लिखकर शुरुआत की जाती है. 'मैं यही सोचकर लाल कवर लेकर आई और उसमें बजट लेकर जाने की बात कही, लेकिन मुझे घर में कहा गया कि यह गिर सकता है. दस्तावेज संसद ले जाते समय गिर सकते हैं तब मामी ने लाल कपड़े का लिफाफेनुमा बस्ता बनाकर दिया. उन्होंने उसे खुद उसे हाथ से सिला.'

Advertisement

उनके बस्ते को बहीखाता नाम किसने दिया, इस पर वित्त मंत्री ने कहा कि यह नाम उन्होंने नहीं दिया, यह नाम जनता में से ही कहीं से आया. प्रधानमंत्री की तरफ से इस पर प्रतिक्रिया के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की तरफ से इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं थी.

Advertisement
Advertisement