केंद्रीय मंत्री वीके सिंह का दलित विरोधी टिप्पणी का मसला सोमवार को फिर गरमा गया. कांग्रेस नेताओं ने उन्हें मंत्री पद से हटाने की मांग को लेकर पार्टी उपाध्यक्ष राहुल गांधी के नेतृत्व में संसद भवन के बाहर प्रदर्शन किया.
सिंह ने हरियाणा में दो दलित बच्चों की हत्या पर कहा था कि 'यदि कोई कुत्ते को पत्थर भी मार दे तो इसके लिए केंद्र सरकार पर आरोप नहीं लगाया जा सकता.' हालांकि बाद में उन्होंने सफाई भी दी थी कि उनके बयान को गलत तरीके से पेश किया गया.
Congress leaders including Rahul Gandhi protest at Gandhi statue in Parliament over VK Singh's alleged 'dog' remark pic.twitter.com/JdlKavDzG4
— ANI (@ANI_news) December 7, 2015
बचाव में सरकार ने यह कहा
वीके सिंह के बचाव में केंद्रीय मंत्री राजीव प्रताप रूडी ने संसद के बाहर पत्रकारों से बातचीत में कहा कि 'राहुल गांधी इस मसले को सियासी रंग देना चाहते हैं. सिंह को ऐसे बयान के लिए निशाना बनाया जा रहा है, जो उन्होंने दिया ही नहीं. राहुलजी अचानक उठते हैं और कुछ भी शुरू कर देते हैं. वीके सिंह ने ऐसा कोई बयान दिया ही नहीं'
ऐसा व्यक्ति मंत्री पद का अधिकारी नहींः आजाद
कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा, 'जो व्यक्ति दलितों के खिलाफ बोलता है, जिसके दिल में दलितों के लिए सम्मान नहीं, उसे मंत्री पद पर बने रहने का कोई अधिकार नहीं है. मोदी सरकार को वीके सिंह को तुरंत पद से हटा देना चाहिए. प्रधानमंत्री को उन्हें पद से हटाने का निर्णय लेना चाहिए.' सिंह विदेश राज्यमंत्री हैं.
मायावती बोलीं- कार्रवाई करना नहीं चाहती बीजेपी
बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने कहा कि वीके सिंह के बयान का मुद्दा कांग्रेस से पहले उन्होंने उठाया था. कांग्रेस भी उतनी ही दलित विरोधी है, जितनी बीजेपी. और बीजेपी जता चुकी है कि वह वीके सिंह के खिलाफ कोई कार्रवाई करने की इच्छुक नहीं है. बीएसपी यह मुद्दा संसद में भी उठा चुकी है.