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हेमंत सोरेन बने झारखंड के नए मुख्यमंत्री

झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के नेता हेमंत सोरेन ने शनिवार को झारखंड के नौवें मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ग्रहण की. वह 16 जुलाई को विश्वास मत हासिल करेंगे. प्रदेश के 13 साल के इतिहास में यह पहली सरकार होगी, जिसमें कांग्रेस सीधे तौर पर शामिल है.

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शिबू सोरेन, हेमंत सोरेन
शिबू सोरेन, हेमंत सोरेन

झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के नेता हेमंत सोरेन ने शनिवार को झारखंड के नौवें मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ग्रहण की. वह 16 जुलाई को विश्वास मत हासिल करेंगे. प्रदेश के 13 साल के इतिहास में यह पहली सरकार होगी, जिसमें कांग्रेस सीधे तौर पर शामिल है.

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हेमंत सोरेन के साथ कांग्रेस के राजेंद्र सिंह और राजद की अन्नपूर्णा देवी ने भी बतौर कैबिनेट मंत्री शपथ ली.

वहीं सोरेन के शपथ ग्रहण का विपक्ष ने बहिष्कार किया और सड़कों पर उतर धिक्कार दिवस मनाया.

इससे पहले मंगलवार को हेमंत सोरेन ने राज्य में सरकार बनाने का दावा पेश किया था. उन्होंने राज्यपाल सैयद अहमद को 82 सदस्यीय विधानसभा में उन्हें समर्थन देने वाले 43 विधायकों की सूची सौंपी थी.

हेमंत सोरेन ने शपथ तो ले ली है, पर उनके लिए असली चुनौती इस गठबंधन सरकार को चलाने की होगी. झारखंड में निर्दलीय विधायकों की ब्लेकमेलिंग की कहानियां किसी से छिपी नहीं हैं. कई निर्दलीय अभी से अपनी मांगों को लेकर हेमंत सोरेन पर दबान बनाने लगे हैं.

निर्दलीय विधायक चमरा लिंडा ने कहा, 'सरकार में सिर्फ 12 ही मंत्री हो सकते हैं, लेकिन हम लोगों ने अपनी बात रख दी है.'

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लेकिन कांग्रेस और जेएमएम इस बार निर्दलीयों को मंत्री बनाने के बजाए कोई दूसरा फॉर्मूला लागू करने के मूड में है. हालांकि कांग्रेस नेता गीता श्री उरांव ने कहा है कि निर्दलीय विधायकों ने बिना शर्त समर्थन देने का वादा किया है.

यह गठबंधन एक समझौते के तहत बना है, जो 2014 के लोकसभा चुनाव के लिए है. 2014 में होने वाले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस दस और जेएमएम चार सीटों पर चुनाव लड़ेगी. इसी समझौते के तहत हेमंत सोरेन को मुख्यमंत्री पद मिला है.

8 जनवरी को जेएमएम की समर्थन वापसी के चलते बीजेपी के नेतृत्व वाली अर्जुन मुंडा की गठबंधन सरकार गिर गई थी. इसके बाद 18 जनवरी को राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू किया गया था.

राष्ट्रपति शासन की 6 महीने की अवधि 18 जुलाई को समाप्त होनी थी, लेकिन इसे शनिवार को ही एक घोषणा जारी करके समाप्त कर दिया गया.

मौजूदा झारखंड विधानसभा का कार्यकाल दिसम्बर, 2014 में समाप्त होगा. मौजूदा विधानसभा के कार्यकाल में यह तीसरी सरकार है.

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