टीम अन्ना और टीम केजरीवाल की दूरियां कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. अन्ना हजारे ने गुरुवार को कहा कि मैं 23 मार्च को होने वाले अनशन में केजरीवाल के साथ अनशन नहीं करूंगा. बीच में ऐसी खबरें आई थी कि केजरीवाल के अनशन में अन्ना भी उनका साथ देने उनके मंच पर जाएंगे.
कभी अन्ना हजारे के बगल में बैठने वाले केजरीवाल की जगह आज पूर्व सेना अध्यक्ष जनरल वीके सिंह बैठे हुए थे. वीके सिंह ने कहा कि बेरोजगारी, महंगाई, भ्रष्टाचार के खिलाफ 31 मार्च से जनतंत्र यात्रा की शुरुआत होगी. यह यात्रा अमृतसर से शुरू होकर दिल्ली तक जाएगी.
उन्होंने कहा कि हमलोगों से चाहते हैं कि वह देश की भागीदारी में आगे आएं और उसका नियंत्रण करें. हम इस मसले पर लोगों की राय जानना चाहते हैं.
देश के सामने खड़ी दिक्कतों के लिए बीजेपी और कांग्रेस दोनों को जिम्मेदार ठहराते हुए वीके सिंह ने कहा कि देश की बड़ी दोनों पार्टियां एक जैसी हैं. सभी पार्टियों ने कमजोर लोकपाल लाने के पक्ष में ही काम किया. विपक्ष केवल औपचारिका निभाने के लिए विरोध करती रही हैं.
वहीं अन्ना ने कहा कि जनतंत्र मोर्चा एक गैर-राजनीतिक संगठन होगी और यह शासन के लिए कभी नहीं जाएगी. अन्ना ने बताया कि यह यात्रा 18 दिनों तक 3 राज्यों से होकर जाएगी. इस यात्रा के दौरान हम 34 रैलियों को संबोधित करेंगे. यात्रा के दूसरे चरण में 3 अलग राज्यों को कवर किया जाएगा.
वर्तमान हालात पर अपनी चिंता जताते हुए अन्ना ने कहा कि संसद में हंगामा पार्टियों के स्वार्थ को दर्शाता है, इसका आम जनता से कोई लेना देना नहीं है. हम सरकार नहीं बदलना चाहते हैं, हमारी इच्छा है कि व्यवस्था में परिवर्तन हो.
अन्ना ने कहा कि हम लोगों से पैसा नहीं चाहते हैं बल्कि हम चाहते हैं कि स्वार्थी लोगों को सत्ता से दूर रखने में हमारी मदद करें.